स्कूलों में कैंप पर नहीं लगे रूबेला के टीके

मुजफ्फरपुर : मिजिल्स रूबेला टीकाकरण में एक और चौंकाने वाला तथ्य सामने आया है. सरकारी स्कूलों में कैंप की रिपोर्ट जा रही है पर वहां टीकाकरण नहीं हो रहा है. मुजफ्फरपुर से जो रिपोर्ट राज्य शिक्षा परियोजना गयी है, उसमें 82 प्रतिशत स्कूलों को इस अभियान में शामिल दिखाया गया है पर टीकाकरण 33 प्रतिशत […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 5, 2019 1:29 AM

मुजफ्फरपुर : मिजिल्स रूबेला टीकाकरण में एक और चौंकाने वाला तथ्य सामने आया है. सरकारी स्कूलों में कैंप की रिपोर्ट जा रही है पर वहां टीकाकरण नहीं हो रहा है. मुजफ्फरपुर से जो रिपोर्ट राज्य शिक्षा परियोजना गयी है, उसमें 82 प्रतिशत स्कूलों को इस अभियान में शामिल दिखाया गया है पर टीकाकरण 33 प्रतिशत का ही हुआ है. राजधानी पटना का हाल भी इसमें खराब है. वहां 79 प्रतिशत स्कूल इस अभियान में शामिल हुए हैं पर टीकाकरण 35.8 प्रतिशत टीकाकरण हुआ है.

सरकारी स्कूलों में मिजिल्स रूबैला का टीकाकरण मुजफ्फरपुर सहित पूरे उत्तर बिहार में फेल कर गया है. राज्य शिक्षा परियोजना ने इस पर जिले के शिक्षा विभाग को फटकार लगायी है. अपनी रिपोर्ट में परियोजना ने बताया कि मुजफ्फरपुर और दूसरे जिलों में डीईओ और बीईओ ने इस टीकाकरण की माॅनिटरिंग तक नहीं की.राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी ने पत्र जारी करते हुए कहा है कि सरकारी स्कूलों में शत प्रतिशत मिजिल्स रूबैला का टीकाकरण नहीं हो रहा है. जो लक्ष्य तय किया गया है उससे काफी

कम टीकाकरण स्कूलों में किया गया है. मुजफ्फरपुर में 33 प्रतिशत ही टीकाकरण हुआ है. सरकारी स्कूलों में मिजिल्स रूबैला के टीकाकरण की मानिटरिंग जिला स्तर पर जिला शिक्षा अधिकारीÂबाकी पेज 17 पर

स्कूल में कैंप

और प्रखंड स्तर पर प्रखंड शिक्षा अधिकारी को करना था.पर मुजफ्फरपुर यह मानिटरिंग नहीं की गयी. पूरे बिहार में पांच प्रतिशत मॉनिटरिंग ही जिला स्तर पर और छह प्रतिशत माॅनिटरिंग प्रखंड स्तर पर की गयी है.

डब्ल्यूएचओ की जांच में मामला आया सामने

सरकरी स्कूलों में मिजिल्स रूबैला के टीकाकरण में लापरवाही का मामला विश्व स्वास्थ्य संगठन की बिहार इकाई की जांच में सामने आया. डब्ल्यूएचओ के बिहार क्षेत्र के निहार निरंजन राय ने शिक्षा विभाग काे पत्र लिखकर कहा है कि सरकारी स्कूलों में शिक्षक और शिक्षा विभाग के अधिकारी टीकाकरण में रुचि नहीं ले रहे हैं. इसलिए टीकाकरण की स्थिति खराब है.

Next Article

Exit mobile version