एसकेएमसीएच में अगले माह से एमआरआई

पीपीपी मोड पर मरीजों को मिलेगी सुविधा मुजफ्फरपुर : उत्तर बिहार के सबसे बड़े अस्पताल एसकेएमसीएच में अगले महीने से एमआरआई की सुविधा मिलने लगेगी. मशीन लगाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. इससे लोगों को काफी कम शुल्क में एमआरआई जांच की सुविधा मिलेगी. पीपीपी मोड पर गोयल ब्रदर्स प्रकाशन द्वारा यह सुविधा […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | July 13, 2019 2:40 AM

पीपीपी मोड पर मरीजों को मिलेगी सुविधा

मुजफ्फरपुर : उत्तर बिहार के सबसे बड़े अस्पताल एसकेएमसीएच में अगले महीने से एमआरआई की सुविधा मिलने लगेगी. मशीन लगाने की प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. इससे लोगों को काफी कम शुल्क में एमआरआई जांच की सुविधा मिलेगी. पीपीपी मोड पर गोयल ब्रदर्स प्रकाशन द्वारा यह सुविधा शुरू की जायेगी.

एमसीआई की ओर से यहां एमआरआई नहीं होने पर सवाल भी उठाया जाता रहा है. अस्पताल में एमआरआई जांच के शुल्क का निर्धारण नहीं किया गया है, लेकिन बाजार दर से आधी कीमत पर जांच होने की बात बतायी गयी है. मशीन इमरजेंसी के बगल में सिटी स्कैन वाली बिल्डिंग में ही स्थापित की जायेगी. एक माह के अंदर मशीन का संचालन शुरू हो जायेगा. पहले एक-दो दिन मशीन का ट्रायल होगा.

फरवरी माह में लगने वाली थी मशीन

हाईकोर्ट के नोटिस के जवाब में कॉलेज केप्राचार्य डॉ विकास कुमार ने फरवरी के पहले सप्ताह में एमआरआई (मैग्नेटिक रेजोनेंस इमेजिंग) मशीन लगाने का शपथ पत्र दिया था. इसमें प्राचार्य ने कहा था कि पीजी में मान्यता के लिए निरीक्षण करने आयी मेडिकल काउंसिल ऑफ इंडिया (एमसीआई) की टीम ने एमआरआइ मशीन नहीं होने पर आपत्ति की थी. इस पर कोर्ट ने संज्ञान लेते हुए नोटिस जारी कर मशीन लगाने के लिए समयसीमा को लेकर शपथपत्र मांगा था. इसकी कॉपी स्वास्थ्य विभाग को भेजी गयी थी.

भवन की क्षमता कम: अस्पताल के इमरजेंसी के पीछे बने भवन में पहले से सीटी स्कैन की सुविधा मिल रही है. इसी भवन में एमआरआई की भी सुविधा मिलेगी. लेकिन भवन की संरचना को कंपनी के इंजीनियर ने कमजोर बताया. एमआरआई मशीन 6500 किलो की है. मशीन के लगने के बाद छत नीचे गिर या धंस सकती है. इसके लिए इंजीनियर की टीम ने बगल से एक स्पोर्टिंग बीम लगाने की बात कही है.

इसके बाद गाेयल ब्रदर्स प्रकाशन के स्थानीय इंचार्ज ने बताया कि भवन में सपोर्टिंग पिलर लगाने की अनुमति ले ली गयी है. जल्द काम शुरू कर दिया जायेगा. मशीन पटना में आ गयी है. भवन में पिलर लगाने के बाद मशीन को भवन में सेट कर दिया जायेगा.

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