फाइल नहीं मिली, बन गया रोस्टर
मुजफ्फरपुर: नगर निगम में मास्टर रॉल पर कार्यरत कर्मचारियों के स्थायीकरण से जुड़ी फाइल नहीं मिली है. चार सौ पेज की ये फाइल निगम कर्मियों के लिए पहेली बनी है, लेकिन नगर आयुक्त के निर्देश पर आनन-फानन में शुक्रवार को कर्मचारियों के स्थायीकरण से संबंधित रोस्टर तैयार कर दिया गया. इससे इन कर्मचारियों के पक्का […]
मुजफ्फरपुर: नगर निगम में मास्टर रॉल पर कार्यरत कर्मचारियों के स्थायीकरण से जुड़ी फाइल नहीं मिली है. चार सौ पेज की ये फाइल निगम कर्मियों के लिए पहेली बनी है, लेकिन नगर आयुक्त के निर्देश पर आनन-फानन में शुक्रवार को कर्मचारियों के स्थायीकरण से संबंधित रोस्टर तैयार कर दिया गया. इससे इन कर्मचारियों के पक्का होने का रास्ता साफ हो गया है. रोस्टर नगर आयुक्त को सौप दिया गया है, जो समीक्षा के बाद नगर विकास विभाग को आगे की कार्रवाई के लिए भेजेंगे.
वहीं, शुक्रवार को निगम में इस बात को लेकर चर्चा हो रही थी कि फाइल नहीं मिलने से परेशानी होगी. कर्मचारियों के स्थायीकरम में पेच फंस सकता है. गायब फाइल में कोर्ट के आदेश, सरकार का पत्र व निगम बोर्ड के फैसले से संबंधित कागजात भी शामिल है. अब कर्मचारियों के भविष्य का फैसला नगर आयुक्त व राज्य सरकार पर निर्भर है.
कर्मचारियों के दायर अवमानना वाद पर हाइकोर्ट ने अधिकारियों को नोटिस जारी कर दी है. प्रभात खबर में इससे जुड़ी खबर प्रमुखता से छपी थी. इसमें फाइल गायब होने के साथ ही हाइकोर्ट में अवमाननावाद दायर होने के बाद अधिकारियों को नोटिस जारी होने की बात बतायी गयी थी. इसे गंभीरता से लेते हुए नगर आयुक्त हिमांशु शर्मा ने शुक्रवार को कार्यालय खुलने के समय ही रोस्टर तैयार करने के लिए बनायी गयी कमेटी के सदस्यों से बात की और कहा कि उन्हें हर हाल में तैयार रोस्टर फाइल चाहिए.
नगर आयुक्त के आदेश के बाद कार्यालय खुलने के साथ ही कर्मचारी रोस्टर तैयार करने में जुट गये. तीन बजे रोस्टर तैयार कर टीम के अध्यक्ष नगर सचिव संजय कुमार राय के समक्ष पंजी प्रस्तुत किया गया. टीम के सभी सदस्यों ने हस्ताक्षर कर पंजी को नगर आयुक्त हिमांशु शर्मा को सौंप दिया.
946 पद स्वीकृत. निगम में कर्मचारियों के 946 पद विभिन्न संवर्गो में स्वीकृत हैं. इसमें 498 कर्मचारी कार्यरत हैं. शेष सभी पद रिक्त हैं. इन रिक्त पदों में 172 कर्मचारी मास्टर रॉल पर कार्यरत हैं. यदि इन कर्मचारियों को विभिन्न संवर्गो में स्थायी रूप से पदास्थापित कर दिया जाता है, तो उसके बाद भी 276 पद रिक्त बच जायेंगे. हालांकि आरक्षण के तहत रोस्टर तैयार करने पर सामान्य वर्ग के मास्टर रॉल पर कार्यरत कई कर्मचारी स्थायी होने से वंचित हो सकते हैं. इस स्थिति में वे समान काम के लिए समान वेतन की मांग कर रहे हैं. जिस पर नगर आयुक्त ने भी सहमति जतायी है.
चौदह संवर्ग में तैयार हुआ रोस्टर
रोस्टर को 14 विभिन्न संवर्गो में रिक्त पद के अनुसार तैयार किया गया. इसमें आरक्षण नियमों का भी ध्यान में रख कर रोस्टर तैयार हुआ, जिसमें अनुसूचित जाति के लिए 16 फीसदी, अनुसूचित जन जाति के लिए एक फीसदी, अत्यंत पिछड़ा वर्ग के लिए 18 फीसदी, पिछड़ा वर्ग के लिए 12 फीसदी, पिछड़ा वर्ग महिला के लिए तीन फीसदी व सामान्य वर्ग के लिए 50 फीसदी आरक्षण का ध्यान रखा गया.