‘मां’ की व्याख्या मुश्किल

फोटो ::: दीपक 54मुजफ्फरपुर. प्रजापिता ब्रह्मा कुमारी ईश्वरीय विवि में मदर्स डे पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए भारतीय साहित्य परिषद के राष्ट्रीय संगठन मंत्री श्रीधर पराड़कर ने कहा कि मां के बारे में बताना बड़ा ही कठिन है. मां शब्द की व्याख्या करना मुश्किल काम है. माता के रूप में ईश्वर हमारे समक्ष […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 10, 2015 11:04 PM

फोटो ::: दीपक 54मुजफ्फरपुर. प्रजापिता ब्रह्मा कुमारी ईश्वरीय विवि में मदर्स डे पर आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए भारतीय साहित्य परिषद के राष्ट्रीय संगठन मंत्री श्रीधर पराड़कर ने कहा कि मां के बारे में बताना बड़ा ही कठिन है. मां शब्द की व्याख्या करना मुश्किल काम है. माता के रूप में ईश्वर हमारे समक्ष है. उसकी सेवा का हमारे अंदर भावना होनी चाहिए. जिस तरह धरती को माता मानते हैं, उसी तरह माता का स्थान उससे कम नहीं है. डॉ संजय पंकज ने कहा कि भारत की राष्ट्रीय विरासत मां के प्रति श्रद्धा सम्मान सदियों से हमारी परंपरा रही है. मातृ देवो भव: हमारा उद्घोष रहा है. मां शब्दों में नहीं भावों में है. वह हमारे हृदय में है. वहीं डॉ एनकेपी सिंह, डॉ रामजी सिंह, नागेंद्रनाथ ओझा, रणवीर अभिमन्यु, रंजना सरकार, विजय शंकर मेहरोत्रा, सविता बहन, वीवी सिन्हा आदि ने भी अपने-अपने विचार रखे.

Next Article

Exit mobile version