15 दिन में देनी थी रिपोर्ट, दो महीने में जांच भी नहीं हुई

15 दिन में देनी थी रिपोर्ट, दो महीने में जांच भी नहीं हुई मनमानी: -विभागीय निर्देश के खिलाफ दिया गया प्रधान शिक्षक का प्रभार -शिक्षा समिति ने की थी शिकायत, उप निदेशक ने दिया था निर्देश -दैनिक व वित्तीय प्रभार रद्द कर दूसरे शिक्षकों को दी गई जिम्मेदारी संवाददाता, मुजफ्फरपुर शिक्षा विभाग में मनमानी और […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 15, 2015 7:15 PM

15 दिन में देनी थी रिपोर्ट, दो महीने में जांच भी नहीं हुई मनमानी: -विभागीय निर्देश के खिलाफ दिया गया प्रधान शिक्षक का प्रभार -शिक्षा समिति ने की थी शिकायत, उप निदेशक ने दिया था निर्देश -दैनिक व वित्तीय प्रभार रद्द कर दूसरे शिक्षकों को दी गई जिम्मेदारी संवाददाता, मुजफ्फरपुर शिक्षा विभाग में मनमानी और उच्चाधिकारियों के निर्देश को ठेंगा दिखाने का चलन बढ़ता जा रहा है. मामला मीनापुर प्रखंड से जुड़ा है, जहां बीइओ ने विभागीय निर्देशों की अवहेलना करते हुए वरीयता की अनदेखी कर एक शिक्षक को प्रधान शिक्षक का प्रभार दे दिया. शिकायत पर उप शिक्षा निदेशक ने जांच कराकर 15 दिन में कार्रवाई की रिपोर्ट मांगी थी, लेकिन दो महीने बाद भी जांच शुरू तक नहीं हो सकी है. उप निदेशक ने वित्तीय व दैनिक प्रभार रद्द करते हुए दो अन्य शिक्षकों की जिम्मेदारी तय की थी, जिसका अनुपालन भी नहीं कराया जा सका है. मीनापुर प्रखंड के उत्क्रमित मध्य विद्यालय-भगवान छपरा में बीइओ मीनापुर ने दो सितंबर 2015 को विभागीय निर्देश के विरुद्ध अन्य शिक्षकों की वरीयता का हनन करते हुए योगेंद्र बैठा को प्रधान शिक्षक का दैनिक प्रभार दे दिया था. बीइओ के आदेश को चुनौती देते हुए इसकी शिकायत विद्यालय शिक्षा समिति की अध्यक्ष मीना देवी ने क्षेत्रीय शिक्षा उप निदेशक से की थी. उप निदेशक ने इसकी जांच कराई तो विद्यालय शिक्षा समिति के साथ ही छात्र व अभिभावकों ने प्रभारी प्रधान शिक्षक पर कई गंभीर आरोप लगाए, जिसे उन्होंने शिक्षक व शिक्षा हित की मर्यादा के खिलाफ बताया है. नौ सितंबर को उन्होंने डीइओ को पत्र लिखकर स्थलीय निरीक्षण कराने का निर्देश दिया था. साथ ही बीइओ के आदेश को रद्द करते हुए विद्यालय दैनिक प्रभार प्रखंड शिक्षक संजय कुमार सिंह व वित्तीय प्रभार उमवि चतुरसी के शिक्षक ज्ञानचंद दास को दिया है. जांच व निर्देश के अनुपालन के लिए डीइओ गणेश दत्त झा ने बीइओ पारू को पत्र लिखा थी. हालांकि दो महीने बाद भी उसका अनुपालन नहीं हो सका है. डीइओ ने बताया कि विद्यालय का स्थलीय निरीक्षण कर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.

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