इंजीनियर हत्याकांड: हंगामा कर भांजी लाठी, टेंपो का शीशा तोड़ा

मुजफ्फरपुर : अंकित की हत्या के विरोध में अखाड़ा घाट पुल पर जाम कर रहे युवकों ने कई बार हंगामा किया. मौके पर दोनों तरफ जब भीड़ बढ़ने लगी, तो कुछ युवकों खुद ही लाठी भांजकर लोगों को हटाने का प्रयास किया. इसके चलते कई बार भगदड़ की स्थिति उत्पन्न हो गयी, जिसमें सड़क पर […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 30, 2015 8:36 AM
मुजफ्फरपुर : अंकित की हत्या के विरोध में अखाड़ा घाट पुल पर जाम कर रहे युवकों ने कई बार हंगामा किया. मौके पर दोनों तरफ जब भीड़ बढ़ने लगी, तो कुछ युवकों खुद ही लाठी भांजकर लोगों को हटाने का प्रयास किया. इसके चलते कई बार भगदड़ की स्थिति उत्पन्न हो गयी, जिसमें सड़क पर गिरकर कई लोग चोटिल हुए.

युवकों ने एक टेंपो व एक बाइक का शीशा भी तोड़ दिया. युवकों ने पुल के पूर्वी छोर पर बांस से घेर कर आवागमन रोक दिया और टायर जलाकर विरोध प्रदर्शन किया. आक्रोशित युवकों ने जिले व प्रदेश में बढ़ते अपराध पर नाराजगी जताते हुए सीएम व एसपी के खिलाफ नारेबाजी भी की. करीब दो घंटे बाद जाम खत्म हुआ, तब लोगों ने राहत ली.

वैसे तो अखाड़ा घाट पुल से पूरब सुबह से ही माहौल गरम था. इस बीच सुबह 10.20 बजे अचानक कुछ युवकों ने अखाड़ा घाट पुल के पूर्वी छोर पर बाइक खड़ी करके जाम लगा दिया. उस वक्त अधिकतर लोग शहर में जाने की जल्दबाजी में थे, लेकिन रास्ता बंद होने से निकलने का कोई दूसरा रास्ता भी नहीं था. शहर से अहियापुर की ओर जाने वाले लोग दोपहिया व चारपहिया वाहनों के साथ अखाड़ाघाट पुल पर फंस गये.
सड़क जाम कर रहे युवकों ने कुछ देर के लिए महिलाओं व छात्राओं को आने-जाने की छूट दी थी, लेकिन जब दोनों तरफ से भीड़ बढ़ गयी, तो उससे निकलना मुश्किल हो गया. इस कारण साइकिल लेकर दर्जनों छात्राएं दोनों तरफ फंसी रहीं. बीच-बीच में जब भगदड़ मचती तो उनके चेहरे पर अनजान सा डर जगह बना लेता. लाचारी थी गंतव्य तक जाने के लिए दूसरा रास्ता नहीं था.
बिगड़े मिजाज से हर कोई दिखा हैरान . दिल्ली से आये अहियापुर के राजनाथ महतो ने ऑटो पकड़ा था. पुल के पश्चिम जाम के कारण ऑटो वाले ने उतार दिया तो सिर पर सामान लेकर हांफते हुए पुल के पूरब पहुंचे थे. पता चला कि आगे भी जाम है तो चेहरे का रंग ही उतर गया. उनकी समझ में नहीं आ रहा था कि अब क्या करें, क्योंकि सामान का बोझ बहुत ज्यादा था. ऐसे कई लोग सामान व परिवार के साथ जाम में फंसे थे. उनके मन में एक ही सवाल था कि आखिर यह सब क्या हो रहा है. अनहोनी के डर से दोपहर एक बजे तक आसपास की छोटी दुकानें भी बंद थीं.
जाम हटा तो पुलिस ने संभाला मोरचा .अखाड़ा घाट पुल पर जितनी देर जाम रहा, पुलिस के जवान या अधिकारियों का कहीं पता नहीं था. आक्रोशित भीड़ मौके पर डीएम व एसएसपी को बुलाने की मांग कर रही है. अनुमंडल पदाधिकारी से वार्ता के बाद जाम खत्म हो गया तो दोनों तरफ से वाहनों की लंबी कतार लगी थी. इस बीच पुलिस के जवानों ने पहुंचकर मोरचा संभाल लिया. इससे आधा घंटा में आवागमन सुचारू हो सका. सड़क पर बीच में खड़े होकर जवानों ने डिवाइडर का काम किया. इसके चलते आसानी से सभी वाहन अपने निर्धारित दिशा से आगे की ओर बढ़ सके.

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