परीक्षा नियंत्रक की नियुक्ति पर सवाल
मुजफ्फरपुर: बीआरए बिहार विवि मुजफ्फरपुर के परीक्षा नियंत्रक डॉ अरुण कुमार सिंह की नियुक्ति पर सवाल उठ गया है. राजभवन के एडिशनल सचिव यूके चौधरी ने परीक्षा नियंत्रक का तबादला बीआरए बिहार विवि से भागलपुर करते हुए उनके योगदान देने पर तत्काल रोक लगा दी है. राजभवन ने इस संबंध में बीआरए बिहार विवि के […]
मुजफ्फरपुर: बीआरए बिहार विवि मुजफ्फरपुर के परीक्षा नियंत्रक डॉ अरुण कुमार सिंह की नियुक्ति पर सवाल उठ गया है. राजभवन के एडिशनल सचिव यूके चौधरी ने परीक्षा नियंत्रक का तबादला बीआरए बिहार विवि से भागलपुर करते हुए उनके योगदान देने पर तत्काल रोक लगा दी है.
राजभवन ने इस संबंध में बीआरए बिहार विवि के अलावा तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय को भी पत्र भेज दिया है. सूत्रों के मुताबिक डॉ अरुण कुमार सिंह का तबादला पहले तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय में कर दिया गया था. इसके बाद किसी ने राजभवन में उनकी नियुक्ति पर ही सवाल उठा दिया था. इसके बाद आनन-फानन में राजभवन ने तबादला के साथ नियुक्ति वैध या अवैध की जांच करने को लेकर भी आदेश जारी कर दिया.
राजभवन से तिलकामांझी भागलपुर विश्वविद्यालय के कुलपति से 15 दिनों के अंदर नियुक्ति प्रक्रिया की जांच कर वैध या अवैध में रिपोर्ट देने को कहा है. साथ ही किस परिस्थिति में डॉ अरुण कुमार सिंह का तबादला बीआरए बिहार विवि में किया गया. इसके बारे में भी विस्तृत रिपोर्ट देने को कहा है. हालांकि, बताया जाता है कि ऑडिटर जेनरल ने नियुक्ति पर योग्यता को लेकर सवाल उठने के बाद भागलपुर विवि में परीक्षा नियंत्रक का वेतन भुगतान पर रोक लगा दी थी. इसके बाद आनन-फानन में परीक्षा नियंत्रक ने तबादला करा बिहार विवि के परीक्षा नियंत्रक बनाये गये थे. ज्ञात हो कि तत्कालीन कुलपति डॉ प्रेमा झा के कार्यकाल में 16 प्राचार्यो के अलावा परीक्षा नियंत्रक की नियुक्ति की गयी थी.
परीक्षा नियंत्रक के पद पर डॉ सिंह को नियुक्त किया गया था. बाद में डॉ सिंह का तबादला बिहार यूनिवर्सिटी में हो गया था. नियुक्ति प्रक्रिया को पिछले साल कोर्ट ने रद्द करने का आदेश दिया था. इसके बाद भागलपुर विश्वविद्यालय में कार्यरत उक्त नियुक्ति से संबंधित सारे प्राचार्यो को हटा दिया गया था.