अहियापुर में हॉस्टल के छात्र की मौत
मुजफ्फरपुर: अहियापुर थाना क्षेत्र के भगवतीपुर स्थित सागर एंड सूरज छात्रवास में रह कर पढ़ रहे शांति निकेतन विद्यालय के दसवीं कक्षा के छात्र प्रभात कुमार की मौत गुरुवार को हो गयी.छात्र की मौत के बाद छात्रावास के संचालक शैलेंद्र कुमार शव को छात्र के घर गायघाट थाना के बेरुआ गांव में पहुंचाकर वापस लौट […]
मुजफ्फरपुर: अहियापुर थाना क्षेत्र के भगवतीपुर स्थित सागर एंड सूरज छात्रवास में रह कर पढ़ रहे शांति निकेतन विद्यालय के दसवीं कक्षा के छात्र प्रभात कुमार की मौत गुरुवार को हो गयी.
छात्र की मौत के बाद छात्रावास के संचालक शैलेंद्र कुमार शव को छात्र के घर गायघाट थाना के बेरुआ गांव में पहुंचाकर वापस लौट गये.
इस संबंध में छात्र प्रभात के पिता अमरनाथ ठाकुर ने गायघाट थाने में लिखित शिकायत की है. उन्होंने आरोप लगाया है कि उनके पुत्र की हत्या कर दी गयी है. उसके शरीर में कहीं खरोंच तक नहीं है.
जबकि संचालक शैलेंद्र कुमार ने करीब तीन बजे फोन पर सूचना दी कि प्रभात का एक्सीडेंट हो गया है. उसे इंदिरा नर्सिग होम में भरती कराया गया है. अमरनाथ ठाकुर ने बताया कि जब वे लोग इंदिरा नर्सिग होम पहुंचे तो वहां अपने पुत्र को नहीं देख, फिर वे एसकेएमसीएच पहुंचे. वहां भी प्रभात नहीं मिला. इसके बाद पता चला कि उसके शव को करीब 3.30 बजे ही घर पर पहुंचा दिया गया है. उन्होंने कहा है कि इससे यह स्पष्ट होता है कि उनके पुत्र की हत्या कर दी गयी है.
जानकारी हो कि इससे पहले भी अहियापुर थाना क्षेत्र स्थित एक विद्यालय में एक छात्र की मौत हो गयी थी. उस मामले में हत्या की प्राथमिकी दर्ज हुई थी, लेकिन मामले को रफादफा कर दिया गया.
इधर, गायघाट थानाध्यक्ष सत्येंद्र राम ने बताया कि परिजनों ने आवेदन दिया है इसमें हत्या का आरोप लगाया गया है. शव पर कहीं भी किसी प्रकार का खरोंच का निशान नहीं है. शव को पोस्टमार्टम के लिए एसकेएमसीएच भेज दिया गया है. परिजनों के बयान को दर्ज कर लिया गया है. घटनास्थल अहियापुर थाना क्षेत्र पड़ता है, इसलिए प्राथमिकी दर्ज करने के लिए फर्द बयान अहियापुर थाना को भेज दिया जायेगा.
वहीं छात्रावास संचालक शैलेंद्र कुमार ने बताया कि दिन में खाना खाने के बाद जब हम वहां से ऊपर कमरे में चले गये. इसके बाद प्रभात चहारदीवारी फांद कर बाहर चला गया और वहां क्रिकेट खेलने लगा. किक्रेट खेलने के क्रम में ही वह गिर गया. हमने तुरंत इसकी सूचना परिजनों को दी और इंदिरा अस्पताल में भरती कराया. फिर वहां से एसकेएमसीएच ले गये, जहां उसकी मौत हो गयी. इसके बाद शव को बेरुआ गांव खुद जाकर पहुंचा दिया.