नहीं हो रहा आंख का ऑपरेशन
संसाधनों का रोना. सदर अस्पताल में सुविधाओं का अभाव मुजफ्फरपुर : सदर अस्पताल में नेत्र विभाग में हर दिन औसतन 100 मरीज आंखों के इलाज के लिए आते हैं. लेकिन जब आॅपरेशन की नौबत आती है, तो उन्हें एसकेएमसीएच रेफर कर दिया जाता है. ऐसे में मरीजों के पास दो ही विकल्प हैं, या तो […]
संसाधनों का रोना. सदर अस्पताल में सुविधाओं का अभाव
मुजफ्फरपुर : सदर अस्पताल में नेत्र विभाग में हर दिन औसतन 100 मरीज आंखों के इलाज के लिए आते हैं. लेकिन जब आॅपरेशन की नौबत आती है, तो उन्हें एसकेएमसीएच रेफर कर दिया जाता है. ऐसे में मरीजों के पास दो ही विकल्प हैं, या तो वे एसकेएमसीएच जायें या फिर अन्यत्र अपना आंख का आॅपरेशन करायें. सदर अस्पताल के नेत्र विभाग की हालत काफी दयनीय हो चुकी है. मरीजों के मोतियाबिंद का ऑपरेशन तक नहीं हो पा रहा है. विभागाध्यक्ष डॉ मनोज कुमार मिश्र ने विभाग की दयनीय हालत को देखते हुए जिलाधिकारी धर्मेंद्र सिंह व डॉ सीएस ललिता सिंह को पत्र लिख इससे अवगत कराया है. उन्होंने अपने पत्र में लिखा है कि नेत्र विभाग की दयनीय हालत के कारण अस्पताल में मोतियाबिंद का ऑपरेशन शून्य है.
इस संदर्भ में कई बार सीएस को पत्र लिख कर स्थिति से अवगत कराया जा चुका है. उन्होंने कहा कि विभाग में फिलहाल आंख की जांच की जाती है. सरकार द्वारा राष्ट्रीय अंधापन नियंत्रण कार्यक्रम के तहत गरीब मरीजों के मोतियाबिंद का नि:शुल्क ऑपरेशन एनजीओ के माध्यम से समय-समय पर शिविर लगाकर जरूर किया जाता है. उन्होंने कहा कि सदर अस्पताल के नेत्र विभाग में प्रतिदिन करीब 100 मरीज दूरदराज के क्षेत्रों से उपचार कराने आते हैं. इन्हें चिकित्सक द्वारा देखने के बाद केवल दवा लिखी जाती है.
ऑपरेशन व अन्य गंभीर उपचार के लिए चिकित्सक उन्हें रेफर कर देते हैं.