जिलेभर के एंबुलेंस कर्मी आज से बेमियादी हड़ताल पर
जिलेभर के एंबुलेंस कर्मी आज से बेमियादी हड़ताल पर
मुजफ्फरपुर.
नयी एजेंसी में समायोजन नहीं होने पर जिलेभर के एंबुलेंस कर्मी शुक्रवार से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गये हैं. हडताल पर चले जाने के बाद मरीजों को निजी वाहन से अस्पताल से घर जाना पड़ रहा है. एंबुलेंस की हड़ताल से मरीज परेशान रहे. मरीजों को अस्पताल आने के लिए निजी गाड़ी और ऑटो लेना पड़ रहा है. सदर अस्पताल से पीएचसी तक और एसकेएमसीएच तक मरीज परेशान रहे हैं. सबसे ज्यादा परेशानी गर्भवती महिलाओं को हुई है. जिला एंबुलेंस कर्मचारी संघ के अध्यक्ष मो. मुस्लिम ने बताया कि नई एजेंसी ने पहले से काम कर रहे एंबुलेंस कर्मियों जिसमें ड्राइवर से लेकर तकनीशियन तक शामिल हैं, उनका समायोजन नहीं किया. हम लोगों ने समायोजन के लिए पहले भी प्रदर्शन किया था. इसके बाद जिला स्वास्थ्य समिति की तरफ से मौखिक रूप आश्वासन मिला था कि पहले से काम कर रहे एंबुलेंस कर्मियों का समायोजन कर दिया जायेगा. लेकिन अब तक नई एजेंसी व स्वास्थ्य समिति की तरफ से हम लोगों को वार्ता के लिए नहीं बुलाया गया है. समायोजन नहीं होने के विरोध में एंबुलेंस कर्मचारी संघ बेमियादी हड़ताल पर जा रहे हैं. जिले में 72 एंबुलेंस चलती है. जिसमें 32 का संचालन निजी एजेंसी व बाकी का स्वास्थ्य समिति करती है. लेकिन सभी में चालक और तकनीशियन को वेतन एजेंसी के द्वारा ही दिया जाता है. 30 अक्तूबर को पुरानी एजेंसी से करार खत्म हो गया है और नई एजेंसी को सरकार ने एंबुलेंस संचालन का जिम्मा दिया है.नयी एजेंसी में समायोजन नहीं होने पर जिलेभर के एंबुलेंस कर्मी शुक्रवार से अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गये हैं.हडताल पर चले जाने के बाद मरीजों को निजी वाहन से अस्पताल से घर जाना पड़ रहा है. एंबुलेंस की हड़ताल से मरीज परेशान रहे. मरीजों को अस्पताल आने के लिए निजी गाड़ी और ऑटो लेना पड़ रहा है. सदर अस्पताल से पीएचसी तक और एसकेएमसीएच तक मरीज परेशान रहे हैं. सबसे ज्यादा परेशानी गर्भवती महिलाओं को हुई है. जिला एंबुलेंस कर्मचारी संघ के अध्यक्ष मो. मुस्लिम ने बताया कि नई एजेंसी ने पहले से काम कर रहे एंबुलेंस कर्मियों जिसमें ड्राइवर से लेकर तकनीशियन तक शामिल हैं, उनका समायोजन नहीं किया. हम लोगों ने समायोजन के लिए पहले भी प्रदर्शन किया था. इसके बाद जिला स्वास्थ्य समिति की तरफ से मौखिक रूप आश्वासन मिला था कि पहले से काम कर रहे एंबुलेंस कर्मियों का समायोजन कर दिया जायेगा. लेकिन अब तक नई एजेंसी व स्वास्थ्य समिति की तरफ से हम लोगों को वार्ता के लिए नहीं बुलाया गया है. समायोजन नहीं होने के विरोध में एंबुलेंस कर्मचारी संघ बेमियादी हड़ताल पर जा रहे हैं. जिले में 72 एंबुलेंस चलती है. जिसमें 32 का संचालन निजी एजेंसी व बाकी का स्वास्थ्य समिति करती है. लेकिन सभी में चालक और तकनीशियन को वेतन एजेंसी के द्वारा ही दिया जाता है. 30 अक्तूबर को पुरानी एजेंसी से करार खत्म हो गया है और नई एजेंसी को सरकार ने एंबुलेंस संचालन का जिम्मा दिया है.
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