सुपरवाइजर तिलक सिंह व मारपीट के आरोपित अजय की जमानत अर्जी खारिज

सुपरवाइजर तिलक सिंह व मारपीट के आरोपित अजय की जमानत अर्जी खारिज

By Prabhat Khabar Print | June 22, 2024 11:36 PM

मुजफ्फरपुर. नेटवर्क मार्केटिंग की आड़ में अय्याशी का अड्डा चलाने वाले सुपरवाइजर तिलक कुमार सिंह व कंपनी में काम करने वाली लड़कियों को बेल्ट से पीटने के आरोपी अजय प्रसाद की जमानत अर्जी कोर्ट ने शनिवार को खारिज कर दी. दोनों आरोपियों की ओर से कोर्ट में जमानत की अर्जी दाखिल की गयी थी. जॉब के नाम पर इस तरह के बड़े पैमाने पर ठगी और शोषण का मामला पाये जाने पर प्रभारी एसीजेएम पंकज कुमार लाल ने सुनवाई की. उन्होंने जमानत अर्जी खारिज कर दी है. अहियापुर थाने के दारोगा जीतेंद्र महतो ने 19 जून को तिलक सिंह और 20 जून को अजय को गिरफ्तार कर न्यायिक हिरासत में जेल भेजा था. जेल भेजे जाने के दिन ही दोनों ने जमानत की अर्जी कोर्ट में डाली थी. जिस पर शनिवार को कोर्ट में सुनवाई की गयी. अब दोनों के वकील जमानत के लिए जिला जज के न्यायालय में अपील करेंगे . – मनीष सिन्हा, एनामुल अंसारी समेत आठाें आरोपी के ठिकाने पर रेड जारी प्राथमिकी दर्ज होने के बाद पुलिस ने जब शिकंजा कसना शुरू किया तो आठों नामजद आरोपी कंपनी के सीएमडी मनीष सिन्हा, कंपनी के वरीय अधिकारी एनामुल अंसारी समेत आठों आरोपी अंडरग्राउंड हो गये हैं. जिला पुलिस की विशेष टीम आरोपियों के ठिकाने पर मुजफ्फरपुर, हाजीपुर, पटना, यूपी के बलिया, गोरखपुर, नोएडा व नेपाल के काठमांडू से लेकर पोखरा और वीरगंज तक पुलिस टीम रेड कर रही है. लेकिन, आरोपियों के अंडरग्राउंड होने व मोबाइल का लोकेशन ट्रेस नहीं होने से पुलिस उनकी गिरफ्तारी नहीं कर पा रही है. नामजद आरोपियों के करीबी दोस्तों व रिश्तेदारों का भी पुलिस मोबाइल का कॉल डिटेल्स, सीडीआर खंगाल रही है. – तिलक ही नहीं सीएमडी मनीष सिन्हा भी लड़कियों का करता था शोषण कंपनी के सुपरवाइजर तिलक कुमार सिंह ही नहीं, सीएमडी मनीष सिन्हा ने भी जॉब के नाम पर लड़कियों का शोषण करता था. लड़कियों को बेल्ट से पिटाई करने के आरोप में जेल भेजे गए बलिया के अजय ने अपने स्वीकारोक्ति बयान में इसका खुलासा किया है. उसका बयान सीजेएम कोर्ट में आइओ ने पेश कर दिया है. इसमें सारण की पीड़िता से जॉब देने के बहाने ठगी और यौन शोषण किये जाने की पुष्टि की गयी है. अजय ने बयान में कहा है कि जब पीड़िता ने विरोध किया तो उसे चुप कराने के लिए तिलक सिंह से मांग में सिंदूर डलवाया गया. इसके बाद उसे एक कमरा दिया गया, जिसमें तिलक और पीड़िता पति-पत्नी की तरह रहने लगे थे. बाद में जब पीड़िता ने वेतन का दबाव बनाया तो उसे कंपनी से निकाल दिया गया था. पीड़िता ने बताया कि एक लड़की का कपड़ा खोलने का वीडियो वायरल हुआ था. उसमें दिख रही लड़की सीवान जिले की है. जैसा तिलक ने उसके साथ किया था. वैसा ही मनीष सिन्हा ने उस लड़की के साथ किया था. सारण जिले की पीड़िता का आरोप है कि उस लड़की को मनीष सिन्हा ने अपने फ्लैट पर भी रखा था. लेकिन, जब उसको हत्या की साजिश का पता चला तो वह डरकर भाग गयी थी. अहियापुर पुलिस पर है पूरा भरोसा, इंसाफ के लिए अंतिम सांस तक लड़ती रहूंगी पीड़िता – आरोपी परिवार वालों को अलग- अलग माध्यम से दी जा रही धमकी- कोर्ट में सुनवाई के लिए सारण पहुंची पीड़िता ने किया खुलासा – प्राथमिकी से पहले लगता था डर, लेकिन अब आरोपियों को सजा दिलाना है मकसद मुजफ्फरपुर. स्नातक सेकंड पार्ट में थी जब सोशल मीडिया के माध्यम से तिलक ने मुझसे जॉब के लिए संपर्क किया. परिवार की आर्थिक स्थिति कमजोर होने व 25 हजार प्रतिमाह वेतन मिलने के झांसे में आकर वह नौकरी करने के लिए तैयार हो गयी. लेकिन, इस नौकरी ने उसकी जिंदगी बर्बाद कर दी. उसकी हंसती- खेलती दुनिया को उजाड़ दिया. तिलक सिंह ने उससे जबरन शादी करने के बाद उसको बीच राह में घुट- घुटकर जीने को छोड़ दिया. एक समय ऐसी स्थिति सामने आन पड़ी कि लगा अब सुसाइड कर ले. लेकिन, परिवार वालों ने हौसला बढ़ाया तो फिर से जीने की हिम्मत हुई और अपने इंसाफ के लिए अब लड़ाई लड़ रही हूं. यह बातें कंपनी की सच्चाई उजागर करने वाली सारण जिले की पीड़िता ने कही. वह केस की सुनवाई के सिलसिले में शनिवार की सुबह कोर्ट पहुंची थी. इस दौरान उसने अपनी आपबीती कही. पीड़िता ने कहा कि अहियापुर थाने में प्राथमिकी दर्ज कराने से पहले बहुत डर रही थी. आरोपी सभी बहुत प्रभावशाली और पैसे वाले हैं. उसके परिवार के साथ कुछ भी अनहोनी कर सकते हैं. गांव समाज के लोग क्या कहेंगे. लेकिन, परिवार वालों के हिम्मत देने से वह कोर्ट परिवाद के आधार पर अहियापुर थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी. इसके बाद से उसको अलग हिम्मत मिली. परिवार के सदस्यों को धमकाया जा रहा है. लेकिन, उसकी हिम्मत और बढ़ती जा रही है. अहियापुर पुलिस पर उसको पूरा भरोसा है. तीन दिनों तक वह थाने पर रही. इस दौरान उसने देखा कि पुलिस उसके केस को लेकर कितना गंभीर है. आइओ से लेकर थानेदार तक हमेशा उनकी केस में आगे की कार्रवाई की बात कह रहे थे. हालांकि, अभी तक इस केस में एक ही नामजद आरोपी पकड़ा गया है. लेकिन, पुलिस पर भरोसा है कि बाकी सभी आरोपी भी जल्दी पकड़े जाएंगे. पीड़िता ने कहा कि अभी उसका मोबाइल पुलिस के पास ही है. जब मोबाइल आ जाएगा तो डीबीआर कंपनी से ठगी व प्रताड़ना के शिकार हुए और लड़के – लड़कियां सामने आ सकते हैं. – कंपनी में ज्वाइनिंग के साथ पांच लाख इंश्योरेंस का भी दिया जाता था झांसा डीबीआर कंपनी में ज्वाइनिंग के साथ ही पांच लाख रुपये इंश्योरेंस देने का झांसा दिया जाता था. कहा जाता था कि अगर कंपनी में ज्वाइनिंग के बाद आपके साथ किसी भी तरह का हादसा होता है तो कंपनी की ओर से पांच लाख रुपये इंश्योरेंस के रूप में दिया जाएगा. ज्वाइनिंग करने वाले से नॉमिनी का नाम भी पूछा जाता था. – पीड़िता से आठ से 10 लड़कियों ने साधा संपर्क, नाम नहीं उजागर होने पर देंगी गवाही सारण की रहने वाली पीड़िता ने बताया कि उनसे आठ से 10 लड़कियों से संपर्क साधा है. जिनके साथ कंपनी में ज्वाइनिंग करने के दौरान बर्बरता की गयी थी. उनका आर्थिक रूप से शोषण करने के साथ- साथ तरह- तरह से मारपीट किया गया था. पीड़िता का कहना है कि ठगी की बात को लेकर तो लड़कियां सामने आ रही है. लेकिन, यौन शोषण को लेकर परिवार व लोक- लाज के डर से कोई तैयार नहीं हो रही है. ठगी की शिकार लड़कियों का कहना है कि उनका नाम नहीं उजागर होगा तो वह गवाही देने को तैयार है. – रक्सौल से लेकर नेपाल तक नेटवर्क फैला रखा है एनामुल:: पीड़िता ने यह भी बताया है कि एनामुल की डीबीआर कंपनी में मनीष सिन्हा के बाद दूसरा पोजीशन है. वह रक्सौल से लेकर नेपाल तक के नेक्सेस को संभालता था. वह अपने साथ नेपाल के लोगों को जोड़कर नेपाल में भी कंपनी खोलने की तैयारी में था. रक्सौल वाले सेंटर पर सबसे अधिक बेरोजगार युवक- युवतियों को रखकर उनसे ठगी की जा रही थी. वह पटना में एक दो बार एनामुल अंसारी से मिली थी. – तिलक ने तीन- चार और लड़कियों को शादी का झांसा देकर किया था शोषण सुपरवाइजर तिलक सिंह ने सिर्फ उसकी ही नहीं, तीन-चार और लड़कियों की जिंदगी बर्बाद की है. उनको भी पहले कंपनी से जोड़कर शादी का झांसा देकर उनके साथ यौन शोषण कर चुका है. उनमें से एक-दो लड़कियां उससे पूर्व में संपर्क भी की थी. तिलक ने उससे जब शादी की तो बताया था कि दो साल तक हम छिपकर ही पति-पत्नी की तरह रहेंगे. दो साल बाद बैंड- बाजा के साथ शादी करेंगे तो घर ले जाएंगे. पहले तिलक के परिवार के लोग उसके साथ थे. लेकिन, जब तिलक अपने घर पर पैसा देने लगा तो वे लोग उससे दूरी बनाने लगे.

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