एसकेएमसीएच मुजफ्फरपुर के पीआइसीयू में बुधवार को चमकी-बुखार के लक्षण वाले तीन बच्चे को भर्ती किया गया. वहीं एइएस पीड़ित पूर्वी चंपारण के चिरैया थाना के मधुबनी गांव के सोनेलाल मल्लिक के छह वर्षीय पुत्र अजय कुमार को डिस्चार्ज कर दिया गया.
एसकेएमसीएच के शिशु रोग विभागाध्यक्ष डाॅ गोपालशंकर सहनी ने बताया कि मोतीपुर समेत अलग-अलग जगह से तीन बच्चे चमकी-बुखार के पीड़ित होकर आए है. इन सबों का सैंपल जांच के लिये लैब भेजा गया हैं. जांच के बाद ही पुष्टि हो पायेगी कि एइएस है या नहीं है. अभी सबकी हालत में सुधार है. एइएस का एक भी बच्चा अभी वार्ड में भर्ती नहीं है. सबको डिस्चार्ज कर दिया गया है.
शिशु रोग विभागाध्यक्ष ने कहा कि अगर समय पर बच्चा अस्पताल आ जाए तो उसकी जान बच जाती है. बता दें कि इस साल आठ बच्चों में एइएस की पुष्टि की गयी है. इनमें छह बालक और दो बालिका है. इलाज के दौरान एक बच्चे की मौत हो चुकी है.
जिले में एइएस के केस मिलने के बाद स्वास्थ्य विभाग के आला अधिकारी गंभीर हो गये हैं. ऐसे में एक भी बच्चा एइएस से मरे नहीं और अधिक केस बढ़े नहीं, इसके लिए प्रधान सचिव आठ अप्रैल को जिले में आकर समीक्षा करेंगे. इस दौरान प्रधान सचिव सरकारी अस्पतालों में तैयारी, दवा की उपलब्धता और किस जगह से अधिक केस आने की संभावना है, इसकी समीक्षा करेंगे.
एइएस पीड़ित बच्चे एसकेएमसीएच में भर्ती होने लगे हैं. ऐसे में स्वास्थ्य विभाग अब 10 लाख पंपलेट व 25 हजार फ्लैक्स के सहारे बच्चों को इस बीमारी से बचाव के लिए जागरूक करेगा. मुख्यालय ने जिले के बच्चे एइएस से पीड़ित ना हो, इसके लिये 10 लाख पंपलेट व 25 हजार फ्लैक्स भेजा है. इसे हर घर में बांटा जायेगा. साथ ही फ्लैक्स को सरकारी अस्पतालों व आंगनबाड़ी केंद्रों पर चिपकाया जायेगा.
POSTED BY: Thakur Shaktilochan