ग्रामीण सोलर स्ट्रीट लाइट के कार्य में लापरवाही बरती गयी है. डीएम सुब्रत कुमार सेन ने साहेबगंज के प्रखंड पंचायत पदाधिकारी से स्पष्टीकरण मांगते हुए प्रपत्र क गठित करने की चेतावनी दी है. जारी पत्र में में डीएम ने जिला विकास व समन्वय समिति की बैठक का हवाला देते हुए कहा है कि सोलर लाइट अधिष्ठापन व भुगतान की समीक्षा के दौरान साहेबगंज के बीपीओ अनुपस्थित थे. साथ ही प्रखंड के सोलर लाइट योजना की प्रगति अच्छी नहीं थी. समीक्षा में यह बात सामने आयी है कि एजेंसी द्वारा किये गये कार्य के एवज में भुगतान लंबित है, जबकि विपत्र उपलब्ध करा दिया गया था. वरीय पदाधिकारी के आदेश की अवहेलना करते हुए डीएम ने कहा है कि क्यों न आपके विरुद्ध प्रपत्र क गठित करने की कार्रवाई की अनुशंसा की जाए. इसके साथ ही अविलंब स्पष्टीकरण का जवाब देने को कहा है.
राज्य सरकार को 1100 करोड़ रुपये मिले थेबता दें कि ग्रामीण क्षेत्रों में बुनियादी ढांचे को बढ़ावा देने के लिए 15वें वित्त आयोग के तहत केंद्र से वित्तीय सहायता के साथ सौर स्ट्रीट लाइट योजना शुरू की गई थी. राज्य सरकार को 1,100 करोड़ रुपये मिले थे, जिसका एक हिस्सा सौर स्ट्रीट लाइट लगाने में इस्तेमाल किया गया.यह तय किया गया कि राज्य भर में 8,000 से अधिक ग्राम पंचायतों के 1,109,647 वार्डों में दस लाख से अधिक सोलर स्ट्रीट लाइटें लगायी जानी हैं. यह ग्रामीण क्षेत्रों में हरित या स्वच्छ ऊर्जा को बढ़ावा देने की योजना का भी हिस्सा था. लेकिन आंकड़ों के अनुसार जिला लक्ष्य से पीछे चल रहा है.
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