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2022 व 2023 सत्र के चार लाख स्टूडेंट्स को रजिस्ट्रेशन का इंतजार

2022 व 2023 सत्र के चार लाख स्टूडेंट्स को रजिस्ट्रेशन का इंतजार

:: प्रिंटर खराब होने के कारण हो रही समस्या, नये प्रिंटर से भी प्रिंटिंग की गति धीमी

:: यूएमआइएस कार्यालय में एसी नहीं होने के कारण आ रही हीटिंग की समस्या

वरीय संवाददाता, मुजफ्फरपुर

बीआरए बिहार विश्वविद्यालय के तकनीकी कार्यों को देखने वाले यूनिवर्सिटी मैनेजमेंट एंड इंफॉर्मेशन सिस्टम (यूएमआइएस) में प्रिंटर की गड़बड़ी के कारण दो सत्र के छात्रों को रजिस्ट्रेशन के लिए परेशानी झेलनी पड़ रही है. स्नातक सत्र 2022-25 और 2023-27 के साथ ही पीजी, वोकेशनल कोर्स के स्टूडेंट्स को भी रजिस्ट्रेशन नहीं मिला है. इस कारण जिनका परिणाम पेंडिंग है. उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. स्टूडेंट्स ने विश्वविद्यालय की कार्यशैली पर सवाल उठाया है. मंगलवार को भी बड़ी संख्या में स्टूडेंट्स रजिस्ट्रेशन स्लिप नहीं मिलने की शिकायत लेकर विश्वविद्यालय पहुंचे थे. 2022 सत्र के स्टूडेंट्स ने कहा कि दो साल बीत जाने के बाद भी अबतक उन्हें कॉलेज से रजिस्ट्रेशन स्लिप नहीं दिया गया. वहां कहा जा रहा है कि विश्वविद्यालय की ओर से रजिस्ट्रेशन स्लिप नहीं भेजा गया है. वहीं कुछ वोकेशनल कोर्स के भी स्टूडेंट्स रजिस्ट्रेशन लेने पहुंचे थे. विश्वविद्यालय के यूएमआइएस कार्यालय में प्रिंटर बीते कई महीने से खराब था. पिछले वर्ष भी मरम्मत के बाद किसी तरह रजिस्ट्रेशन की प्रिंटिंग की गयी थी. वहीं इस वर्ष प्रिंटर खराब हो जाने के कारण यह कार्य बाधित है. यहां का एसी भी बीते कई वर्षों से कार्य नहीं कर रहा है. इस कारण प्रिंटर और कंप्यूटर में लगातार कार्य के कारण हीटिंग की समस्या आ रही है. इस कारण प्रिंटर बार-बार खराब हो रहा है.

स्नातक का दूसरा वर्ष बीता पर नहीं मिला रजिस्ट्रेशन

2022 में नामांकन लेने वाले स्नातक के करीब 40 हजार से अधिक स्टूडेंट्स को अबतक रजिस्ट्रेशन स्लिप नहीं मिला है. इनसे रजिस्ट्रेशन शुल्क 2022 में ही लिया जा चुका है. वहीं पिछले सत्र में नामांकित करीब 1.42 लाख स्नातक के और पीजी, बीएड व अन्य वोकेशनल काेर्स को मिलाकर करीब एक लाख समेत कुल चार लाख से अधिक छात्र-छात्राएं रजिस्ट्रेशन के लिए प्रतीक्षा कर रहे हैं. विश्वविद्यालय की ओर से बताया गया कि विद्यार्थियों की परेशानी को देखते हुए नया प्रिंटर लगाया गया है, लेकिन उसकी स्पीड काफी धीमी है. इस कारण रजिस्ट्रेशन को प्रिंट करने में समय लगेगा. विद्यार्थियों को सबसे बड़ी समस्या यह आ रही है कि अबतक वे प्रोविजनल रजिस्ट्रेशन के आधार पर ही परीक्षा फॉर्म भर रहे हैं. परिणाम पेंडिंग हो जाने की स्थिति में उनसे रजिस्ट्रेशन स्लिप मांगा जा रहा है. यह अबतक विश्वविद्यालय से प्राप्त ही नहीं हुआ है. इस कारण छात्र-छात्राएं परेशान हैं.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

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