-एआइसीटीइ ने 120 सीटों पर एमबीए कोर्स के संचालन को लेकर दी है मान्यता-120 सीटों पर लिया जाना है नामांकन, सेल्फ फाइनेंस मोड में अगले सत्र से नामांकन नहीं
मुजफ्फरपुर.
बीआरएबीयू में मैनेजमेंट विभाग के तहत एमबीए कोर्स में पेच फंस गया है. अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद ने 120 सीटों पर एमबीए में दाखिले को लेकर मंजूरी दी थी. इसके बाद कोर्स को शुरू करने की दिशा में कवायद शुरू की गयी थी. दूरस्थ शिक्षा निदेशालय में स्थल भी चयनित हो गया था. सरकार के स्तर से स्वीकृति मिलने में अड़चन आ रही है. ऐसे में इस सत्र में अब नामांकन मुश्किल लग रहा है. विवि की ओर से कोर्स को शुरू करने के लिए राजभवन से पत्राचार किया जा रहा है. छठ की छुट्टी के बाद राजभवन काे मामले से अवगत कराया जायेगा. प्रॉक्टर प्रो बिनय शंकर राय ने बताया कि एआइसीटीइ की ओर से मान्यता मिलने के बाद कोर्स शुरू होना था, लेकिन सरकार के स्तर से मान्यता में अड़चन है. ऐसे में विवि राजभवन से मार्गदर्शन मांगेगा. वहां से स्वीकृति मिलने पर कोर्स शुरू हो सकेगा. बता दें कि मैनेजमेंट का नया विभाग शुरू करने और एमबीए में 120 सीटों पर दाखिले की अनुमति दी गयी है. विवि की ओर से कहा गया था कि राष्ट्रीय स्तर पर होने वाली प्रवेश परीक्षा मैट के आधार पर ही एमबीए कोर्स में दाखिला लिया जायेगा. विवि मैनेजमेंट विभाग के संचालन से लेकर कोर्स की रूपरेखा तैयार करने समेत अन्य कार्यों के लिए पांच सदस्यीय कमेटी का गठन किया गया था. मैनेजमेंट विभाग में फैकल्टी और कर्मियों की नियुक्ति के लिए प्रस्ताव बनाकर राजभवन भेजा गया है. वहां से मंजूरी मिलने के बाद पदाें काे भरने के लिए विज्ञापन जारी किया जायेगा. मैनेजमेंट विभाग में प्रोफेसर समेत कुल छह प्राध्यापकों की नियुक्ति की जानी है. वहीं इसके अलावा दो पद तृतीय व चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारियों के भी हाेंगे.पूर्व से संचालित सेल्फ फाइनेंस कोर्स में अगले वर्ष से दाखिला नहीं :
विवि के कॉमर्स विभाग में पूर्व से सेल्फ फाइनेंस मोड में एमबीए कोर्स का संचालन किया जा रहा है. मैनेजमेंट विभाग के तहत एमबीए कोर्स के संचालन के बाद सेल्फ फाइनेंस मोड में संचालित कोर्स पर रोक लग जायेगी. कहा जा रहा है कि अगले सत्र से एमबीए में नामांकन नहीं होगा. मैनेजमेंट विभाग के तहत संचालित होने वाले एमबीए कोर्स की फी भी सेल्फ फाइनेंस कोर्स की तुलना में काफी कम होगा.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है