मुजफ्फरपुर.
आरडीएस कॉलेज के स्नातकोत्तर गणित विभाग की ओर से वैदिक गणित और इसके अनुप्रयोग विषय पर सेमिनार का आयोजन किया गया. बतौर मुख्य वक्ता विश्वविद्यालय में गणित विभाग के सहायक प्राध्यापक डॉ एसके शुक्ला ने वैदिक गणित की महत्ता व उसके अनुप्रयोग पर कहा कि वैदिक गणित भारतीय ज्ञान विज्ञान की बौद्धिक विरासत है.वैदिक गणित के 16 सूत्रों को वेदों का अनुसंधान करके जगदगुरु शंकराचार्य भारती कृष्ण तीर्थ महाराज ने निकाला है, जो आधुनिक गणित के अंकगणित, बीजगणित, त्रिकोणमिति, कैलकुलस, कंप्यूटर विज्ञान जैसे अहम क्षेत्रों में अत्यधिक उपयोगी है. वैदिक गणित के 16 सूत्री जटिल गणितीय समस्याओं को तेजी से हल करने में सहायता प्रदान करते हैं. सेमिनार के मुख्य अतिथि विश्वविद्यालय गणित विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ संजय कुमार ने कहा कि वैदिक गणित मानसिक गणना तकनीकों की प्रणाली है, जिसकी खोज प्राचीन हिंदू ग्रंथो में 20वीं सदी में शंकराचार्य भारती कृष्ण तीर्थ द्वारा किया गया. वैदिक गणित एकाग्रता व समस्या समाधान क्षमताओं को बेहतर बनाने में मदद करता है. अध्यक्षता करते हुए प्राचार्य डॉ अनीता सिंह ने कहा कि यह विवि का पहला कॉलेज है, जहां वैदिक गणित पर सेमिनार का आयोजन किया गया. कार्यक्रम के दौरान गणित विभाग के अध्यक्ष डॉ दिनेश तिवारी, गणित विभाग की प्राध्यापिका डॉ के वंदना, डॉ भोला महाली, डॉ रमेश गुप्ता, डॉ सत्येंद्र प्रसाद सिंह, डॉ राजीव, डॉ आनंद प्रकाश दुबे, डॉ सौरभ राज, डॉ रजनीकांत पांडे, डॉ आशुतोष मिश्रा, डॉ जयदीप घोष, डॉ ललित किशोर, डॉ प्रबाल चटर्जी, डॉ गणेश शर्मा, डॉ मीनू, डॉ मनीष शर्मा, डॉ अंजनी शुक्ला, डॉ संजय चौधरी सहित गणित विभाग के छात्र-छात्राएं उपस्थित थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है