ग्रोथ सेंटर के लिए जमीन अधिग्रहण और राजकीय दमन व शोषण के खिलाफ फूटा गुस्सा
बीहट : बरौनी प्रखंड के हवासपुर में बरौनी ग्रोथ किसान संघर्ष समिति के बैनर तले बीहट,असुरारीहवासपुर,पपरौर,हाजीपुर व पिपरा के किसानों ने ग्रोथ सेंटर के लिए गैर कानूनी जमीन अधिग्रहण व किसानों पर दमन व शोषण के खिलाफ और अपनी पांच सूत्री मांगों के समर्थन में धरना-प्रदर्शन किया. किसानों ने समिति के सदस्य रामगोपाल कुमार व […]
बीहट : बरौनी प्रखंड के हवासपुर में बरौनी ग्रोथ किसान संघर्ष समिति के बैनर तले बीहट,असुरारीहवासपुर,पपरौर,हाजीपुर व पिपरा के किसानों ने ग्रोथ सेंटर के लिए गैर कानूनी जमीन अधिग्रहण व किसानों पर दमन व शोषण के खिलाफ और अपनी पांच सूत्री मांगों के समर्थन में धरना-प्रदर्शन किया.
किसानों ने समिति के सदस्य रामगोपाल कुमार व संजीव कुमार के नेतृत्व में एक दिवसीय धरना दिया. कार्यक्रम की अध्यक्षता किसान संघर्ष समिति के अध्यक्ष रामरतन सिंह ने करते हुए कहा कि हम बारह सौ परिवारों के किसान हैं.
हम उसी किसान परिवार से आते हैं, जिनके पूर्वजों ने 50 सालों से जिनकी जमीन सरकार ने अधिकृत कर गंगा ब्रिज प्रोजेक्ट,बरौनी थर्मल,रिफाइनरी, फर्टिलाइजर तथा रोड- रेलवे लाइन का निर्माण किया. इससे इन किसान परिवार के वारिस गरीब होते हुए मजदूर वर्ग में पहुंच गये हैं.
हमारे साथ पहले भी अन्याय हुआ और अभी भी हो रहा है. उन्होंने कहा कि हमारी अंतिम बची हुई जमीन भी सरकार ग्रोथ सेंटर के नाम पर अधिग्रहण करने पर उतारू है. हम किसान तब से ही संघर्ष कर रहे हैं और हम जमीन पर अपना पोजीशन आज तक बनाये हुए हैं. 2006-07 में किसानों के भीषण संघर्ष में उस समय के डीएम को घोषणा करना पड़ा था कि सरकार अब जमीन अधिग्रहित नहीं करेगी.
यह इसलिए कि सरकार ने मान लिया था कि अधिग्रहण का क्रिया कलाप खुद उसके द्वारा निर्धारित अधिग्रहण के लिए गाइडलाइन के खिलाफ है. किसान यह कैसे सह सकते हैं कि उनकी जमीन एक लाख 40 हजार प्रति एकड़ में लेकर बियाडा एक करोड़ से अधिक की राशि में लीज पर बेचे और मुनाफा कमाये.
अपना पांच सूत्री स्मारपत्र लेकर अंचल कार्यालय तक किया पैदल मार्च :किसानों ने अपनी पांच सूत्री मांगों का स्मार पत्र लेकर पैदल मार्च करते हुए अंचल कार्यालय पहुंचे.पांच सूत्री मांगों में सरकार अद्यतन जमीन अधिग्रहण के गाइडलाइन के हिसाब से मुआवजा किसानों को करने की घोषणा करें,अधिग्रहित भू- भाग में भुगतान से वंचित किसानों को वर्तमान भूमि अधिग्रहण के अनुसार भुगतान सुनिश्चित करने, किसान परिवार में नौजवानों को योग्यता के मुताबिक जमीन पर होने वाले विकास कार्य में भागीदार बनाते हुए रोजगार की गारंटी करने, सरकार घोषणा करे कि उस जमीन पर कौन सा प्रोजेक्ट लगाया जायेगा और उसमें देशहित, बिहार राज्य व जिला हित का ख्याल रखते हुए किसान अपनी सहमति देंगे व रोड से 100 से 75 फुट जमीन को प्लॉटिंग कर जो किसान परिवार के नौजवान व्यापार, बिजनेस करना चाहे उन्हें नि:शुल्क दिया जाये.
धरना-प्रदर्शन में ये भी थे शामिल:मौके पर पूर्व विधायक सुरेंद्र मेहता,संघर्ष समिति के उपाध्यक्ष योगेंद्र प्रसाद सिंह, कोषाध्यक्ष गोरेलाल सिंह, कांग्रेस नेता नारायण प्रसाद सिंह, विनय कुमार सिंह, राज किशोर सिंह, प्रदीप पाठक, कपिल देव भगत, रामबालक भगत, राम वचन भगत, नागेश्वर भगत समेत बडी संख्या में किसान शामिल हुए.
धरना के बाद सभी किसान बरौनी अंचल पहुंचकर बरौनी प्रखंड अंचल अधिकारी से मिलकर अपनी मांगों से संबंधित स्मार पत्र सौंपा.
बाउंड्री निर्माण कार्य को तत्काल रोकने की मांग
किसान संघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष कॉ रामरतन सिंह ने कहा कि किसानों के सवाल पर सरकार डीएम के माध्यम से किसान प्रतिनिधि बियाडा और अन्य प्रतिनिधि के बीच बातचीत के लिए एक और समय निर्धारित करें और जब तक फैसला ना हो जाये तब तक उक्त स्थान पर निर्माण कार्य बंद करें.
उन्होंने कहा कि हम किसान तब तक संघर्ष करते रहेंगे जब तक हमारी उचित मांगों को सरकार मान नहीं लेती.अगर दमनात्मक कार्रवाई हुई तो किसान अपनी जान भी देकर अपना भविष्य बचाने को तैयार हैं