खुलेंगे 12 नये पशु चिकित्सालय
बिहारशरीफ : राज्य में बढ़ रहे मवेशियों की संख्या को देखते हुए राज्य सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों एवं नवसृजित प्रखंडों ने प्रथम वर्गीय पशु चिकित्सालय की स्थापना करने का निर्णय लिया है. पशु चिकित्सालय खोलने का मकसद ग्रामीण क्षेत्रों में पशुओं के स्वास्थ्य आच्छादन की सुविधा, बंध्याकरण, टीकाकरण, पशुपालकों को उनके दरवाजे पर सहज एवं […]
बिहारशरीफ : राज्य में बढ़ रहे मवेशियों की संख्या को देखते हुए राज्य सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों एवं नवसृजित प्रखंडों ने प्रथम वर्गीय पशु चिकित्सालय की स्थापना करने का निर्णय लिया है.
पशु चिकित्सालय खोलने का मकसद ग्रामीण क्षेत्रों में पशुओं के स्वास्थ्य आच्छादन की सुविधा, बंध्याकरण, टीकाकरण, पशुपालकों को उनके दरवाजे पर सहज एवं सुगम रूप से उपलब्ध कराना है. सरकार के इस निर्णय के आलोक में नालंदा के 12 स्थानों पर एवं शेखपुरा में तीन स्थानों पर प्रथम वर्गीय पशु चिकित्सालय खोलने का निर्णय लिया है.
नालंदा के बेन प्रखंड में बेन, बारा, कतरीसराय में बिलारी, थरथरी में थरथरी, सिलाव में नीरपुर, नूरसराय में नदिऔना, इस्लामपुर में पनहर, हरनौत में कल्याण बिगहा एवं तेलमर, बिहारशरीफ में दीपनगर, एकंगरसराय के केला बिगहा एवं राजगीर केभूई में प्रथम वर्गीय पशु चिकित्सालय खोले जायेंगे.
शेखपुरा जिले के भदौंसी, चेवाड़ा प्रखंड के चेवाड़ा एवं बरबीघा प्रखंड के कुसेढ़ी में प्रथम वर्गीय पशु चिकित्सालय खोले जायेंगे. सरकार के विशेष सचिव देवेंद्र प्रसाद ने इस संबंध में आदेश जारी किया है. वित्तीय वर्ष 2010-11 में ही राज्य सरकार ने सूबे में 300 नये प्रथम वर्गीय पशु चिकित्सालय खोलने एवं संबद्ध पदों के सृजन करने का निर्णय लिया था.
उक्त निर्णय के आलोक में पशुपालन निदेशालय ने पशु चिकित्सालय के लिए स्थल चयन करने का कार्य जिला पशुपालन पदाधिकारी को दिया था. जिला पशुपालन पदाधिकारी द्वारा उपलब्ध कराये गये प्रतिवेदन के आधार पर उपरोक्त स्थानों पर पशु चिकित्सालय खोलने का निर्णय लिया गया है.