उत्पादन बढ़ाने की दी जानकारी
बिहारशरीफ (नालंदा) . कृषि विज्ञान केंद्र में दूध उत्पादन एवं मूल्य वर्धित दूध उत्पादों का दो दिवसीय प्रशिक्षण का समापन हो गया. संजय गांधी डेयरी इंस्टीच्यूट, पटना के सौजन्य से इस प्रशिक्षण में नालंदा के कई गांवों के महिला एवं पुरुष दूध उत्पादक शामिल हुए. संजय गांधी डेयरी इंस्टीच्यूट, पटना के निदेशक डॉ आर विसिंग […]
बिहारशरीफ (नालंदा) . कृषि विज्ञान केंद्र में दूध उत्पादन एवं मूल्य वर्धित दूध उत्पादों का दो दिवसीय प्रशिक्षण का समापन हो गया. संजय गांधी डेयरी इंस्टीच्यूट, पटना के सौजन्य से इस प्रशिक्षण में नालंदा के कई गांवों के महिला एवं पुरुष दूध उत्पादक शामिल हुए. संजय गांधी डेयरी इंस्टीच्यूट, पटना के निदेशक डॉ आर विसिंग के नेतृत्व में जिले के दूध उत्पादकों को प्रशिक्षण दिया गया. इस प्रशिक्षण के दौरान डॉ आरआर विसिंग ने कहा कि भारत दूध उत्पादन के क्षेत्र में अव्वल है, लेकिन यहां का दूध गुणवत्ता में अंतरराष्टÑीय मानक के अनुरूप नहीं है. इसके कारण दूध एवं दूध से बने उत्पादों का निर्यात लगभग एक प्रतिशत से भी कम है. उन्होंने गुणवत्तापूर्ण दूध उत्पादन की जानकारी दूध उत्पादकों को देते हुए बताया कि इससे दूध उत्पादों को विदेशों में भी निर्यात किया जा सकता है. उन्होंने बताया कि ज्यादातर अधिक दूध देनेवाली शंकर नस्ल की गायों में फनैला रोग की शिकायत पायी जाती है. इस रोग से गायों को बचाने का उपाय बताते हुए उन्होंने दूध उत्पादकों को रसगुल्ला व पनीर तैयार करने की तकनीक की जानकारी दी.कृषि विज्ञान केंद्र के कार्यक्रम समन्वयक डॉ संजीव कुमार ने स्वयं दूध उत्पादन की महत्ता बताते हुए दूध उत्पादकों को कुछ बिंदुओं पर ध्यान देने की सलाह दी. प्रशिक्षण में शामिल दूध उत्पादकों को डेमॉन्शट्रेशन के माध्यम से रसगुल्ला, पनीर, काला जामुन, गुलाब जामुन बनाने की तकनीक की जानकारी दी. इस प्रशिक्षण में हरनौत प्रखंड के सबनहुआडीह, जीवनपुर, हरनौत, खरूआरा, पोआरी, पोरई आदि गांवों के किसान व कृषि विज्ञान केंद्र के अन्य वैज्ञानिक शामिल थे.