बांटे जायेंगे डीजल अनुदान के रुपये
बांटे जायेंगे डीजल अनुदान के रुपये कृषि विभाग ने संबंधित प्रखंड के बीडीओ को भेज रही राशिकिसानों ने विलंब से मिलने पर जता रहे रोषफोटो-11प्रतिनिधि, नवादा कार्यालय सरकार की ओर से वर्ष 2015 के लिए डीजल अनुदान के रुपये सभी जिलों में उपलब्ध करायी गयी है. कृषि विभाग प्रखंड विकास पदाधिकारी के माध्यम से लाभुक […]
बांटे जायेंगे डीजल अनुदान के रुपये कृषि विभाग ने संबंधित प्रखंड के बीडीओ को भेज रही राशिकिसानों ने विलंब से मिलने पर जता रहे रोषफोटो-11प्रतिनिधि, नवादा कार्यालय सरकार की ओर से वर्ष 2015 के लिए डीजल अनुदान के रुपये सभी जिलों में उपलब्ध करायी गयी है. कृषि विभाग प्रखंड विकास पदाधिकारी के माध्यम से लाभुक किसानों तक रुपये को भेजने की कार्रवाई शुरू कर दी है. कृषि विभाग की ओर से गुरुवार तक प्रखंडों में 66 लाख रुपये डीजल अनुदान के लिए प्रखंडों में भेज दिया गया है. विभागीय अधिकारी ने बताया कि सामान्य एवं अनुसूचित जाति वर्ग के किसानों के लिए अलग-अलग राशि उपलब्ध करा कर जिला कोषागार के माध्यम से सभी प्रखंड विकास पदाधिकारियों को उपलब्ध करायी गयी है. जल्द ही किसानों को यह रुपये आरटीजीएस के माध्यम से सीधे खातों में उपलब्ध करायी जा रही है. सरकार की ओर से वित्तीय वर्ष 2015-16 के लिए डीजल अनुदार वितरण को लेकर प्रखंडवार (सामान्य वर्ग) प्रतिवेदन प्रशासन की ओर से उपलब्ध करायी गयी है.प्रखंडवार उपलब्ध रुपये प्रखंड®आवंटन®वितरण(रुपये में)—®—®सामान्य®अनुसूचित जाति मेसकौर®8,28,400®72,036®996रोह®11,59,800®10,27,170®72,300सिरदला®12,42,700®11,53,125®40,925रजौली®13,25,500® 6,35,164®-गोविंदपुर®7,45,500®3,14,160®15,750नरहट® 8,28,400®6,48,006® -पकरीबरावां®13,25,500®86,190®8610हिसुआ®9,11,300®2,32,050®4800वारिसलीगंज®14,08,300®3,39,669®2,190काशीचक®5,80,000®1,88,083® -कौआकोल®12,42,700®12,42,300®153000नारदीगंज®9,11,300® 4,49,567® -नवादा®15,74,000® -® -अकबरपुर®16,57,000®-® -(नोट- नवादा और अकबरपुर प्रखंड में यह राशि शुक्रवार को जिला कोषागार से पास होने के उपरांत संबंधित प्रखंडों को भेजी जा रही है़ ) खातों में हो रहा स्थानांतरित सरकार की ओर से प्राप्त डीजल अनुदान के रुपये को बीडीओ के माध्यम से संबंधित किसानों के खातों में स्थानांतरित किया जा रहा है. वितरित की रिपोर्ट आने के उपरांत ही लाभुकों की सही सूची उपलब्ध करायी जा सकती है. सुनील कुमार, जिला कृषि पदाधिकारीबोले किसानधान की खेती चौपट होने के बाद सरकार की ओर से डीजल अनुदान के रुपये उपलब्ध कराये जा रहे हैं, जो किसानों के लिए फायदे मंद नहीं है. दो महीने पहले रुपये उपलब्ध होते, तो धान की फसल को बचाया जा सकता था.कारू सिंह, किसान, दौलत पुर वारिसलीगंजबारिश नहीं होने के कारण हमलोगों की फसल बरबाद हो रही थी. ऐसे में हमने घरों का सामान बेच कर अपने फसल को बचाया है. सरकार से मिलने वाले अनुदान के रुपये ऊंट के मुंह में जीरा साबित हो रही है. साधु यादव, किसान, बुधौल,नवादा