बिना गुरु के भव के पार उतरना मुश्किल

बिना गुरु के भव के पार उतरना मुश्किलनरहट. सत्गुरु पीयवा जीन पर राजी होलै हो जीतलकै जग में बाजी यह सुंदर भजन मंगलवार को निरंकारी मिशन द्वारा आयोजित सत्संग के दौरान सुनने को मिला़ कुशा गांव में किरण बहन के घर खुला सत्संग में एक बहन ने भजन को सुना कर सत्संग में उपस्थित भाई-बहनों […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 9, 2015 7:02 PM

बिना गुरु के भव के पार उतरना मुश्किलनरहट. सत्गुरु पीयवा जीन पर राजी होलै हो जीतलकै जग में बाजी यह सुंदर भजन मंगलवार को निरंकारी मिशन द्वारा आयोजित सत्संग के दौरान सुनने को मिला़ कुशा गांव में किरण बहन के घर खुला सत्संग में एक बहन ने भजन को सुना कर सत्संग में उपस्थित भाई-बहनों को झुमा दिया़ महात्मा रामवचन जी ने प्रवचन के दौरान सदगुरु बाबा हरदेव सिंह जी महाराज के बताये रास्ते पर चलने की बात बतायी. उन्होंने मीरा व सबरी के प्रसंग को सुना कर कहा कि बिना गुरु के भव से पार उतरना मुश्किल है़ जिन महापुरुष का आज हम गुण गान करते है़ं सभी ने सदगुरु से जुड़ कर ब्रह्मज्ञान प्राप्त कर भव से पार उतारा हुआ हैं. महात्मा रामचंद्र प्रसाद ने अपने मखार बिंद से कहा कि प्यार नम्रता सहनशीलता संत जनों का गहना है, सबसे मिल कर रहो जगत में यही सदगुरु का कहना है़ उन्होंने आपस में मिल जुल कर प्रेम नम्रता से रहने की नसीहत दी़ उन्होंने कहा की बिना ईश्वर के जाने मोक्ष की प्राप्ति नहीं हो सकता है़ सदगुरु बाबा हरदेव महाराज जगह-जगह पर सत्संग रूपी पाठशाला खोल कर लोगों को ईश्वर की जानकारी दे रहें हैं. दो घंटे का सत्संग का कार्यक्रम में दूर-दूर से आये संत महापुरुष ने एक से बढ़ कर एक भजन सुनाया. सत्संग के बाद उपस्थित भक्तों ने लंगर प्रसादी का भी आनंद लिया़ इस मौके पर मुख्य महात्मा विनोद गुप्ता, रामवृक्ष राजवंशी, सुरेश यादव, मुन्नी बहन, सावित्री बहन समेत सैकड़ों की संख्या में भाई-बहन मौजूद थे़

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