सीमेंट की बिक्री पर भी असर

नदी घाटों से बालू का उत्खन्न नहीं होने से विकास कार्य प्रभावित हो रहे हैं़ साथ ही सरकार को हर माह जिले से प्राप्त होनेवाले एक करोड़ रुपये का नुकसान हो रहा है़ नवादा (सदर) : पिछले 10 फरवरी से जिले के सभी बालू घाटों से बालू का उत्खनन कार्य बंद होने से सरकार को […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | March 14, 2016 8:22 AM

नदी घाटों से बालू का उत्खन्न नहीं होने से विकास कार्य प्रभावित हो रहे हैं़ साथ ही सरकार को हर माह जिले से प्राप्त होनेवाले एक करोड़ रुपये का नुकसान हो रहा है़

नवादा (सदर) : पिछले 10 फरवरी से जिले के सभी बालू घाटों से बालू का उत्खनन कार्य बंद होने से सरकार को करोड़ों रुपये का नुकसान हो रहा है. वहीं विकास कार्य भी प्रभावित हो रहे हैं. जिले में बालू घाटों का निविदा प्राप्त करनेवाले गोपाल प्रसाद ने बताया कि 10 फरवरी से बालू का खनन बंद रहने से सरकार को जिले से एक करोड़ रुपये के राजस्व की क्षति होती है.

एक महीने के दौरान जिले में बालू के उठाव से प्राप्त एक करोड़ की राशि खनन विभाग को दी जाती है. जिले में स्थित 59 बालू घाटों से बालू का उठाव बंद रहने के कारण निजी व सरकारी सभी प्रकार के भवन निर्माण, सड़क निर्माण, नाली, गली पीसीसी का काम बंद है. बालू का खनन बंद होने से खनन विभाग को प्रतिदिन दो लाख 80 हजार रुपये की रॉयल्टी मिलती थी, इससे सेलटैक्स व इनकम टैक्स को राजस्व की क्षति हो रही है.

जिले में बालू का उत्खनन कार्य पिछले एक महीने से बंद रहने के कारण सीमेंट के कारोबार पर भी प्रतिकूल असर पड़ा है. बालू नहीं रहने के कारण मकान निर्माण कार्य बिल्कुल ठप है.

इससे मकान निर्माण मेटेरियल सीमेंट, छड़, गिट्टी आदि सामान की बिक्री भी ठप है. डेली कमाने खाने वाले मजदूर भी बेरोजगार हो गये हैं. उनके समक्ष भूखमरी की समस्या उत्पन्न हो गयी है. ऐसे हालात में मजदूर पलायन को विवश हैं. जल्द ही बालू उठाव के संबंध में कोई ठोस निर्णय नहीं लिया गया तो सीमेंट व छड़ की दुकानें भी बंद हो जायेगी.

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