पुलिस को झिड़की दे ट्रैफिक नियमों को तोड़ रहे लोग

शहर को अतिक्रमण से मुक्त करने की पहल को नहीं मिली गति नवादा कार्यालय : व्यवस्थित शहर बसाने की प्रशासनिक पहल दम तोड़ती नजर आ रही है. जिला प्रशासन द्वारा तामझाम के साथ कई योजनाएं शुरू की गयीं, लेकिन तमाम पहल समाहरणालय परिसर व इसके इर्द-गिर्द ही घूमती रही. अतिक्रमण मुक्त सड़कें, वन वे ट्रैफिक […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 2, 2017 9:23 AM
शहर को अतिक्रमण से मुक्त करने की पहल को नहीं मिली गति
नवादा कार्यालय : व्यवस्थित शहर बसाने की प्रशासनिक पहल दम तोड़ती नजर आ रही है. जिला प्रशासन द्वारा तामझाम के साथ कई योजनाएं शुरू की गयीं, लेकिन तमाम पहल समाहरणालय परिसर व इसके इर्द-गिर्द ही घूमती रही. अतिक्रमण मुक्त सड़कें, वन वे ट्रैफिक व्यवस्था, पार्किंग जोन, सीसीटीवी कैमरा लगाने व लाइटिंग व्यवस्था जैसी योजनाओं की घोषणा से शहर में बदलाव के आसार दिखे थे. पिछले साल जुलाई में अतिक्रमण हटाने को लेकर पूरा प्रशासन सड़क पर उतर आया था. नगर पर्षद अधिकारी भी पूरी तत्परता से अतिक्रमण हटाने में जुटे थे. 10 दिनी अतिक्रमण हटाओ अभियान में पूरे शहर की रंगत ही बदल गयी थी, लेकिन एक पखवारा होते ही सड़कों पर दुकानें सजनीं शुरू हो गयी थीं. अब शहर की स्थिति यथावत हो गयी. खुरी नदी पुल फुटपाथ, सोनार पट्टी, अस्पताल रोड, प्रसाद बिगहा, पुराना कचहरी रोड, ठाकुरबाड़ी रोड सहित लाल चौक पर अतिक्रमणकारी फिर से काबिज हो गये हैं.
मुख्यालय का दक्षिणी भाग पार नवादा में प्रशासन की गैरमौजूदगी जाम की बड़ी समस्या है. इक्के-दुक्के पुलिस जवानों को झिड़की देकर लोग नियमों को तोड़ते दिखते हैं. खुरी नदी पुल फुटपाथ पर अतिक्रमण कर दुकानें लग गयी हैं. शहर की इस प्रमुख इंट्री सड़क पर खड़ी गाड़ियों से लंबा जाम लगता है. इंदिरा चौक पर भी वाहनों की लंबी कतार देखने को मिलती है. शहर में सैकड़ों इ-रिक्शे की मौजूदगी से भी जाम लगता है. जानकारों का कहना है कि सड़क किनारे जमे फेरीवाले, रेहड़ी व फुटपाथी दुकानदारों के लिए वैकल्पिक व्यवस्था के बिना समस्या का समाधान संभव नहीं है.
वन-वे व्यवस्था का नहीं होता पालन
बीते साल सितंबर में शहर के विजय बाजार, साहिब कोठी गली, प्रसाद बिगहा पीएनबी की सड़क सहित पुराना कचहरी रोड, सोनार पट्टी में वन-वे ट्रैफिक व्यवस्था लागू की गयी थी.
शुरुआती दौर में नियमों का कड़ाई के साथ पालन करवाया गया, लेकिन ट्रैफिक पुलिस की तैनाती हटते ही व्यवस्था चरमरा गयी. प्रजातंत्र चौक के पास ट्रैफिक पुलिस की गहमागहमी के बावजूद लोग नियमों को तोड़ कर सफर करते हैं. शहर की अन्य सड़कों पर यातायात नियमों का हाल बदहाल है. मुख्य सड़कों के किनारे खड़ी गाड़ियां जाम की सबसे बड़ी समस्या बन कर उभरी हैं. लोग सड़क किनारे गाड़ी खड़ी करके दुकानों में खरीदारी करते हैं. इससे संकरी सड़कों पर जाम लगता है. प्रशासनिक पदाधिकारियों द्वारा व्यवसायी व बुद्धिजीवी वर्ग से समस्या निदान के लिए पहल करने को कहा गया था. सोनार पट्टी में आर्य समाज मंदिर, अस्पताल रोड व अन्य जगहों पर पार्किंग जोन विकसित करने की योजना बनी, लेकिन कुछ नहीं हुआ.

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