बाजार में चलने तक नहीं बचा फुटपाथ, प्रशासन मौन
रजौली : अतिक्रमण के कारण सड़क सिकुड़ चुकी है. रजौली बाजार की सड़क अब आम-अवाम के पैदल चलने लायक भी नहीं रह गयी है. मुख्य बाजार की सड़कों की जमीन को धीरे-धीरे स्थानीय लोगों ने अतिक्रमण कर लिया है. शेष बची जमीन पर फुट कर विक्रेताओं व व्यवसायियों का कब्जा है. अतिक्रमण करते रहने की […]
रजौली : अतिक्रमण के कारण सड़क सिकुड़ चुकी है. रजौली बाजार की सड़क अब आम-अवाम के पैदल चलने लायक भी नहीं रह गयी है. मुख्य बाजार की सड़कों की जमीन को धीरे-धीरे स्थानीय लोगों ने अतिक्रमण कर लिया है. शेष बची जमीन पर फुट कर विक्रेताओं व व्यवसायियों का कब्जा है. अतिक्रमण करते रहने की होड़ के कारण सड़कों के किनारे की जमीन गायब हो गयी है.
फुटपाथ की जमीन के अतिक्रमित कर लिए जाने की वजह से बाजार आने-जाने वाले लोगों के लिए पैदल चलने की जद्दोजहद रोज दिख रहा है. इससे दुर्घटना की आशंकाएं भी मंडराती रहती है. रजौली बाजार कई महत्वपूर्ण सड़क मार्गों से जुड़ी है. ऐसे में बाजार में भीड़ का बढ़ना स्वाभाविक है.
बढ़ती भीड़ के बावजूद बस पड़ाव के नहीं रहने से भी ऑटो, सवारी व मालवाहक गाड़ियों का सड़क पर रुकना मजबूरी है. अतिक्रमणकारियों के इस खेल से स्थानीय प्रशासन व जनप्रतिनिधि अनभिज्ञ नहीं हैं. अतिक्रमणमुक्त कराने को लेकर उच्च न्यायालय निर्देश भी प्रशासन को मिला हुआ है. पर,इस दिशा में करगार कदम नहीं उठाये जा सके हैं.