टोल फ्री नंबर 102 पर डायल करने पर नहीं मिल रहा जवाब
स्वास्थ्य विभाग की इमरजेंसी सेवाओं के लिए जाने जाने वाला 102 नंबर की सेवाएं लचर साबित हो रही है. राज्य सरकार की ओर से इमरजेंसी सेवाओं के लिए जारी किये गये नंबरों में यह निर्देशित है कि कॉल करने के बाद 10 मिनट के अंदर सेवाएं उपलब्ध हो जायेंगी. जिले के सरकारी अस्पतालों में निःशुल्क एंबुलेंस सेवा उपलब्ध करा रही एजेंसी के एसीओ नैयर आजम बताते हैं कि नेशनल एंबुलेंस सर्विस की ओर से टोल फ्री नंबर 102 जारी किया गया है. जितने भी सरकारी एंबुलेंस संचालित हैं, सभी पर टोल फ्री नंबर 102 लिखा है. मरीज या परिजन 102 नंबर डायल कर एम्बुलेंस प्राप्त कर सकते हैं.
क्या है मामला
मामला रविवार दोपहर का है. राजद कार्यालय के परिसर में चल रहे प्रेमचंद जयंती समारोह के उपलक्ष्य में विचार गोष्ठी सह कवि सम्मेलन के दौरान उदय भारती की तबीयत अचानक खराब हो गयी. इस दौरान 102 नंबर पर सात मिनट तक कॉल करने के बाद भी रिस्पांस नहीं मिला और ना ही किसी भी तरह का कोई कॉल बैक आया. लास्ट में मरीज उदय भारती को रिस्क लेकर निजी वाहन से सदर अस्पताल पहुंचाया गया. वहां डॉक्टरों के द्वारा प्राथमिक उपचार किया गया.
एंबुलेंस की सुविधा मुफ्त
सरकारी अस्पतालों में निःशुल्क एंबुलेंस सेवा उपलब्ध है. मरीजों को एंबुलेंस उपलब्ध कराने की जिम्मेदारी आउटसोर्सिंग एजेंसी की है. इसका संचालन पटना से ही होता है. मरीज के परिजन टोल फ्री नंबर 102 पर कॉल कर एंबुलेंस की डिमांड कर सकते हैं. अगर, एंबुलेंस मिलने में परेशानी है या कोई ड्राइवर या इएमटी पैसे की डिमांड करता है, तो परिजन लिखित शिकायत कर सकते हैं. उसके खिलाफ कार्रवाई की जायेगी.
कुमार आदित्य, प्रबंधक, सदर अस्पताल
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