अकबरपुर.
प्रखंड क्षेत्र में रोहिणी नक्षत्र की समाप्ति व मृगशिरा नक्षत्र के प्रवेश के बावजूद कृषि कार्य में तेजी नहीं आ रही है. तापमान भी 40 डिग्री सेल्सियस से कमने का नाम नहीं ले रहा है. ऐसे में किसानों की परेशानी बढ़ी हुई है. आमतौर पर रोहिणी नक्षत्र में किसान धान का बिचड़ा गिराने का काम करते थे. खेतों में नमी नहीं रहने के कारण बिचड़ा गिराने के लिए खेत की तैयारी तक नहीं कर सके हैं. ऐसे में प्रखंड में बमुश्किल दो प्रतिशत बिचड़े डालने का काम किया है. बिचड़े डालने के लिए खेतों की जुताई की आवश्यकता है . बारिश आरंभ हुई नहीं. ऐसे में बिजली मोटर पंप का सहारा है. प्रखंड में वर्षाभाव के कारण भूगर्भीय जलस्तर में गिरावट का सिलसिला जारी है. चापाकलों ने पानी देने से मना कर दिया है. फिर पेयजल की समस्या है. ऐसे में किसानों के पास खेती के लिए पानी की समस्या उत्पन्न हो गयी है. जिन किसानों ने धान के बिचड़े डाले भी हैं 40 डिग्री के तापमान में उनके बिचड़े सही सलामत रह पायेंगे इसमें संदेह है. किसान परेशान हैं और उनकी निगाहें आसमान पर टिकी है. आसमान से पानी के स्थान पर आग के गोले बरस रहे हैं.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है