न्यू ईयर में घूमने की कर रहे तैयारी तो जरूर पढ़ें ये खबर, बिहार के इन 5 शहरों में दिखेगा बहुत कुछ खास

New Year 2023: बिहार में पिकनिक और पर्यटन की सबसे पसंदीदा नगरी राजगीर है. इसके अलावा बेतिया में वाल्मीकि टाइगर रिजर्व, सासाराम में शेरशाह सूरी का मकबरा, नालंदा में पावापुरी, रोहतास के तिलौथू प्रखण्ड में मां तुतला भवानी की प्राचीन मंदिर जा सकते है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 26, 2022 3:20 PM
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New Year 2023: बिहार में अभी से ही लोग नए साल (New Year 2023) को लेकर उत्सुक हैं. नए साल में कहां घूमना है और कहां जाना है इसे लेकर लोग सर्च कर रहे हैं. प्रदेश में ऐसी कई खूबसूरत जगह है. जहां रोमांच के साथ-साथ शांति का लुत्फ उठा सकते हैं. इसके साथ ही आप नए साल को पूरी तरह से यादगार बना सकते हैं. बिहार में पिकनिक और पर्यटन की सबसे पसंदीदा नगरी राजगीर है. इसके अलावा बेतिया में वाल्मीकि टाइगर रिजर्व, सासाराम में शेरशाह सूरी का मकबरा, नालंदा में पावापुरी, रोहतास के तिलौथू प्रखण्ड में मां तुतला भवानी की प्राचीन मंदिर जा सकते है. यहां पर आपको घूमने-फिरने की और मस्ती-उत्साह भरपूर मिलेगा. आइए जानते हैं बिहार में कौन सी खूबसूरत जगह है जहां आसानी से पहुंचा जा सकता है.

राजगीर सबसे परफेक्ट पिकनिक मनाने की जगह

न्यू ईयर को यादगार बनाने के लिए लोग तैयारी में जुट गए हैं. अगर आप बहुत दूर नहीं जाना चाहते है तो कम खर्च में राजगीर सबसे परफेक्ट पिकनिक डेस्टिनेशन हो सकता है. राजगीर की वादियों में आपको देखने और घूमने के लायक काफी कुछ मिलेगा. यहां पर नव वर्ष को लेकर पर्यटन निगम की ओर से पूरी तैयारी की गई है. राजगीर में घूमने की 5 सबसे खूबसूरत जगह है. नेचर सफारी राजगीर, राजगीर कुंड, राजगीर जू सफारी, शांति स्तूप राजगीर, घोड़ा कटोरा झील राजगीर जरुर घुमें.

बेतिया में वाल्मीकि टाइगर रिजर्व

वाल्मीकि टाइगर रिजर्व (वीटीआर) बिहार का इकलौता टाइगर रिजर्व है. यहां पर कम बजट में घूमने के लिए बेस्ट है. जंगल और खूबसूरत वादियों के बीच आप रोमांच का मजा ले सकते हैं. यहां शांति है. ज्यादा भीड़ नहीं मिलेगी. एक तरफ पहाड़ है तो दूसरी तरफ गंडक नदी है. ये रिजर्व बिहार के बेतिया से लगभग 100 किमी की दूरी पर स्थित है. यहां रहकर नदी, पहाड़ और जानवरों का मजा ले सकते हैं. साल 2010 में यहां सिर्फ आठ बाघ बचे थे. लेकिन, 2018 की नेशनल नेशनल टाइगर कंजर्वेशन ऑथोरिटी (एनटीसीए) की बाघों की गणना के अनुसार यह संख्या बढ़कर करीब 36 से 42 के बीच हो गई है.

सासाराम में बादशाह शेर शाह सूरी का मकबरा

बिहार के सासाराम में अफगान बादशाह शेर शाह सूरी का मकबरा है, जो सम्राट शेर शाह सूरी की स्मृति को समर्पित किया गया है. इंडो-इस्लामिक वास्तुकला का बेहतरीन ये मकबरा शहर के सबसे लोकप्रिय पर्यटन स्थलों में से एक है. इसे बोलचाल की भाषा में भारत का दूसरा ताजमहल भी कहा जाता है. लाल पत्थर से निर्मित ये स्मारक तीन मंजिला है जो झील के केंद्र में स्थित है. यह वास्तुकला की इंडो-इस्लामिक शैली का एक सुंदर नमूना है. नए साल पर दोस्त परिवार और साथियों के साथ यहां घूमने का लुत्फ उठा सकते हैं.

नालंदा में पावापुरी स्थित ‘जल मंदिर’

पावापुरी में स्थित ‘जल मंदिर’ राजगीर और बोधगया के समीप पावापुरी भारत के बिहार प्रान्त के नालंदा जिले मे स्थित एक शहर है. यह जैन धर्म के मतावलंबियो के लिये एक अत्यंत पवित्र शहर है. माना जाता है कि भगवान महावीर को यहीं मोक्ष की प्राप्ति हुई थी. यहां के जलमंदिर की शोभा देखते ही बनती है. यहां भी कम बजट में आसानी से पहुंचा जा सकता है.

रोहतास में मां तुतला भवानी की प्राचीन मंदिर

रोहतास जिले के तिलौथू प्रखण्ड में मां तुतला भवानी की प्राचीन मंदिर स्थिति है. तुतला भवानी धाम का मंदिर रोहतास जिला मुख्यालय से 38 किमी दूर तिलौथू प्रखंड में कैमूर की मनोरम पहाडियों में स्थित है. तुतला भवानी मंदिर पहाड़ी की घाटी में स्थित है. मंदिर के सटे पहाड़ी में कछुअर नदी बहती है. तुतला भवानी मंदिर के आसपास की प्राकृतिक छटा मनोरम है. आप कम बजट में इन सभी जगहों का आनंद ले सकते हैं.

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