अब बाहर रहने वाले बिहारियों का रिकॉर्ड रखेगी सरकार, बनेगा अलग विभाग
श्रम मंत्री ने कहा कि नये उद्योग लगाने के लिए हम एससी-एसटी के लोगों को 10 लाख रुपये का लोन दे रहे हैं. इसमें पांच लाख का अनुदान होगा, जबकि बाकी पांच लाख सिर्फ मूलधन किश्तों में अदा करना होगा.
पटना. श्रम संसाधन मंत्री जीवेश कुमार ने कहा कि राज्य सरकार विदेश से लेकर देश के दूसरे राज्यों में रहने वाले तमाम बिहारियों का डाटा बैंक तैयार करेगी.
इसके लिए अलग विभाग बना कर उनका रजिस्ट्रेशन किया जायेगा. उन्हें कोई तकलीफ होने पर राज्य सरकार के स्तर पर वार्ता कर दूर करायेंगे. सरकार बाहर रहने वाले बिहारियों का रिकॉर्ड रखने से जुड़ी हर Breaking News in Hindi से अपडेट रहने के लिए बने रहें हमारे साथ.
साथ ही उनके हुनर का इस्तेमाल कर लघु व मध्यम स्तर का रोजगार उपलब्ध कराया जायेगा. वे सोमवार को एक्शन एड द्वारा ‘ समतामूलक समाज के निर्माण में सरकार की विकासात्मक नीति एवं कार्यक्रम की भूमिका ‘ पर राज्य स्तरीय कार्यशाला में बोल रहे थे.
उद्योग के लिए देंगे 10 लाख का लोन
श्रम मंत्री ने कहा कि नये उद्योग लगाने के लिए हम एससी-एसटी के लोगों को 10 लाख रुपये का लोन दे रहे हैं. इसमें पांच लाख का अनुदान होगा, जबकि बाकी पांच लाख सिर्फ मूलधन किश्तों में अदा करना होगा.
इससे इतर लोगों को पांच लाख रुपये पर मात्र एक फीसदी का ब्याज लगेगा. 20 लाख रोजगार खड़ा करने का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं. उन्होंने बेहतर सुझावों को आमंत्रित भी किया.
बतौर विशिष्ट अतिथि बिहार राज्य खाद्य आयोग के अध्यक्ष विद्यानंद विकल ने कहा कि खाद्य सुरक्षा कानून के तहत वंचित समाज के लोगों का कार्ड ऑनलाइन भी बनाया जा रहा है.
कार्यशाला को दलित अधिकार मंच के कपिलेश्वर राम, एनसीडीएचआर के विद्यानंद राम, बिहार विकलांग अधिकार मंच के राकेश कुमार, बचपन बचाओ आंदोलन के मुख्तारुल हक व भोजन के अधिकार अभियान के रुपेश कुमार ने संबोधित किया.
इसके अलावा मुसहर विकास मंच के अशर्फी सदा, असंगठित क्षेत्र कामगार संगठन के विजयकांत, अभिषेक कुमार, सुनील बासु, मनोज कुमार, लालमोहन तथा डॉ फिरोज मंसूरीआदि ने भी संबोधित किया.
Posted by Ashish Jha