बिहार में ऑक्सीजन की आपूर्ति सुधरी, पर पटना के निजी अस्पतालों में सिलिंडर का संकट बरकरार
राजधानी के सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में बने कोविड वार्डों में इन दिनों संकट कुछ कम हुआ है. बेड से ऑक्सीजन तक को लेकर होने वाली समस्या कम हुई है. लेकिन शहर के निजी कोविड अस्पतालों में अभी ऑक्सीजन का बैकअप अधिकतम 15 से 20 घंटे का है.
पटना. राजधानी के सरकारी मेडिकल कॉलेज अस्पतालों में बने कोविड वार्डों में इन दिनों संकट कुछ कम हुआ है. बेड से ऑक्सीजन तक को लेकर होने वाली समस्या कम हुई है. लेकिन शहर के निजी कोविड अस्पतालों में अभी ऑक्सीजन का बैकअप अधिकतम 15 से 20 घंटे का है.
हालांकि सिलिंडरों की आपूर्ति सुधरी है. अभी भी कई नर्सिंग होम में डिमांड के आधार पर सप्लाइ नहीं हो पा रही है. स्वास्थ्य विभाग व जिला प्रशासन की ओर से इसको लेकर लगातार बैठकें हो रही हैं, जिसके बाद कुछ अस्पतालों में सुधार दिखा है़
35 निजी अस्पतालों में पहुंचने लगे ऑक्सीजन सिलिंडर : शहर के तकरीबन 35 अस्पतालों में ऑक्सीजन सिलिंडर समय पर पहुंचने लगे हैं. मगर यह अब भी पर्याप्त नहीं हैं. शहर के बेली रोड, पाटलिपुत्र, कंकड़बाग, राजेंद्र नगर, दानापुर, खगौल इलाके में संचालित हो रहे बड़े अस्पतालों में ऑक्सीजन सिलिंडर मिलने लगे हैं.
बाकी के मान्यता प्राप्त निजी अस्पताल संचालकों ने भी स्वास्थ्य विभाग, पुलिस व जिला प्रशासन से पर्याप्त मात्रा में ऑक्सीजन की मांग की है. निजी नर्सिंग होम संचालकों ने अपने यहां के बैकअप का भी जिक्र किया है. मांग में कहा गया है कि किसी अस्पताल में 8, 10 तो किसी में 12 घंटे ऑक्सीजन का बैकअप है. वहीं, दूसरी ओर अब स्वास्थ्य विभाग व जिला प्रशासन की टीम ऑक्सीजन की बर्बादी पर नजर बनाये हुए हैं.
पहले 1200 की थी खपत, अब 8000
कोरोना काल के पहले शहर के अस्पतालों में सिलिंडर की खपत हर दिन 1200 से 1500 थी. लेकिन वर्तमान में रोजना आठ हजार से अधिक सिलिंडर की मांग बनी हुई है. अचानक मांग के बाद उत्पादन के लिए फैक्ट्रियों का विस्तार करना पड़ा. सिपारा स्थित उषा एयर प्रोडक्टस लिमिटेड के निदेशक कुमार गौरव प्रसाद कहते हैं कि इस मुश्किल घड़ी में मशीन से ज्यादा श्रमिकों ने बड़ी भूमिका निभायी. उनके हौसले के कारण ही हम सरप्लस की स्थिति में है.
उन्होंने बताया कि करीब 300 ऑक्सीजन सिलिंडर लोगों के घरों में पड़े हैं, जिसके कारण हम चाह कर भी मदद नहीं कर पा रहे हैं. जून तक आरा में नया ऑक्सीजन प्लांट लगाने की अनुमति उद्योग विभाग और स्वास्थ्य विभाग ने दे दी है.
पहले की अपेक्षा अब सुधर रहे हैं हालात
पाटलिपुत्रा इंडस्ट्रीयल गैसेज के प्रमुख संजय भरतिया ने बताया कि इस वक्त भी हर दिन पटना के चारों प्लांट से आठ हजार ऑक्सीजन सिलिंडरका उत्पादन हो रहा है. इसमें लगभग तीन हजार सिलिंडर का उत्पादन पाटलिपुत्रा गैसेज कर रही है.
उन्होंने बताया कि 20 अप्रैल से पांच मई तक जो पैनिक हालात थे, उसमें अब सुधार हुआ है. इस बीच समस्तीपुर और बेगूसराय में ऑक्सीजन प्लांट लगने के कारण भी ऑक्सीजन सप्लाइ बढ़ी है.
Posted by Ashish Jha