राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और पूर्व केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस ने शुक्रवार को कहा कि वह खुद को एनडीए का हिस्सा मानते हैं, लेकिन यदि बिहार विधानसभा चुनाव के लिए किसी गठबंधन में सीटों के बंटवारे पर बात नहीं बन पाई तो उनकी पार्टी सभी 243 सीटों पर उम्मीदवार उतारने के लिए तैयार है.
मैं जब तक घोषणा नहीं कर देता…
मीडिया से बात करते हुए पशुपति पारस ने कहा, “मैं जब तक घोषणा नहीं कर देता हूं कि मैं एनडीए छोड़ चुका हूं तब तक मैं एनडीए में हूं. आने वाले दिनों में हमारी कार्यसमिति की बैठक होने वाली है, उस बैठक में हम अपने भविष्य की रणनीति की घोषणा करेंगे.” बिहार की सभी सीटों पर हम चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं. हम बहुत जल्द क्षेत्र में निकलेंगे. बिहार विधानसभा चुनाव में किसी भी गठबंधन से अगर हमारी पार्टी का समझौता होता है और मेरे मन मुताबिक सीट मिलती है तो हम साथ मिलकर चुनाव लड़ेगे. अगर ऐसा नहीं होता है तो बिहार की सभी 243 सीटों पर हम अकेले विभानसभा चुनाव लड़ेंगे. मैं किसी गठबंधन के साथ रहूं या न रहूं, लेकिन हमारी तैयारी सभी विधानसभा सीटों पर आगामी विधानसभा चुनाव लड़ने की है. हमारे कार्यकर्ता सभी बूथों पर चुनावी तैयारी में लगे हुए हैं.”
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चिराग की बातों से र्क नहीं पड़ता
एनडीए घटक दल की ओर से उन्हें इस गठबंधन का हिस्सा नहीं माने जाने के सवाल पर पूर्व केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इससे हमें फर्क नहीं पड़ता. उन्होंने कहा कि रामविलास पासवान भारत के सर्वमान्य नेता माने जाते हैं. ऐसे में उन्हें भारत रत्न मिलना चाहिए. इस संबंध में बिहार सरकार को भारत सरकार के पास अनुशंसा भेजनी चाहिए. मैं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से भारत सरकार को अनुशंसा भेजे जाने की मांग करता हूं.
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