चिराग पासवान के एक-एक बाउंसर बॉल पर पशुपति पारस ने लगाया ‘छक्का’, तेजस्वी को लेकर क्या कुछ कहा जानिए…
Bihar politics: पशुपति पारस ने कहा कि तेजस्वी यादव अपने मुहिम में लगे हुए है. वे बिहार के मुख्यमंत्री को दिल्ली भेजकर खुद बिहार के सर्वोच्च पद पर कब्जा करना चाहते हैं.
Bihar politics: बिहार में एनडीए के साथ खड़ी एकमात्र गुट राष्ट्रीय लोकजनशक्ति पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह केंद्रीय मंत्री पशुपति पारस ने अपने भतीजे चिराग पासवान, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और राजद प्रमुख लालू यादव और तेजस्वी यादव पर जमकर निशाना साधा. उन्होंने चिराग पासवान को दिशाहीन वाहन चालक तक करार दिया.
‘राजनीति छोड़ देंगे लेकिन राजद के साथ नहीं जाएंगे’
पशुपति पारस ने बिना नीतीश कुमार का नाम लिए कहा कि देश में प्रधानमंत्री पद के लिए एक मुहिम चलाई जा रही है. उन्होंने विपक्ष के प्रधानमंत्री पद के चेहरे को लेकर भी तीखे सवाल पूछे. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि तेजस्वी यादव अपने मुहिम में लगे हुए है. वे बिहार के मुख्यमंत्री को दिल्ली भेजकर खुद बिहार के सर्वोच्च पद पर कब्जा करना चाहते हैं. वहीं, राजद में शामिल होने के सवाल पर पशुपति पारस ने साफ तौर पर कहा कि वे राजनीति छोड़ देंगे लेकिन राजद में कभी शामिल नहीं होंगे.
‘चिराग को दिशा की जरूरत’
पशुपति पारस ने अपने भतीजे पर भी जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि चिराग दिग्भ्रमित है कि उन्हें आखिर जाना कहां है. वे इसका फैसला नहीं कर पा रहे हैं. उन्होंने चिराग पर तंज कसते हुए कहा कि जो वाहन चालक सड़क पर यह तय नहीं कर पाता है कि आखिर उसको जाना कहां है, उसका एक्सीडेंट तय है.
गलतफहमी में जी रहे चिराग
केंद्रीय मंत्री ने चिराग पासवान के एनडीए घटक दल में घर वापसी को लेकर कहा कि ये बातें केवल उनके (चिराग) के कुछ लोग फैला रहे हैं. ऐसी कोई बात नहीं है. उन्होंने सवालिया लहजे में पूछा कि क्या किसी बीजेपी के कोई बड़े नेता ने इसपर कोई बात कही है क्या?, मैं एनडीए सरकार में मंत्री हूं. बैठक में मैं भाग लेने के लिए जाता हूं. ये गलतफहमी फैलाई जा रही है. चिराग दूर-दूर तक इस गठबंधन का हिस्सा नहीं है.
NDA की सरकार टूटने से बिहार को हुआ घाटा
केंद्रीय मंत्री ने बिहार में एनडीए की सरकार टूटने को लेकर दु:ख भी जताया. उन्होंने कहा कि बिहार में तय समय से पहले ही सरकार का टूटने और नई सरकार के गठन होने से सबसे ज्यादा घाटा बिहार को हुआ है. उन्होंने कहा कि राज्य में गठबंधन की सरकार होने से पीएम नरेंद्र मोदी की विशेष नजर बिहार पर होती थी. केंद्र सरकार की ओर से बिहार में रोड, बिजली, मेडिकल क़ॉलेज और इंजीनियरिंग क़ॉलेज आदि दिए गए. लेकिन बीच सफर में सरकार का इस तरह से टूटने से अब बिहार का विकास रूक गया है.