अनुपम कुमार, पटना.
पटना बांसघाट में नये शवदाह गृह कांप्लेक्स का निर्माण नवंबर में शुरू होगा. इसके लिए बुधवार को फिर से टेंडर डालने की प्रक्रिया शुरू की गयी है. पांच अक्तूबर तक इसे ऑनलाइन अपलोड किया जा सकेगा और छह अक्तूबर को इसे खोला जायेगा. अक्तूबर के मध्य तक टेंडर आवंटन की प्रकिया पूरी कर ली जायेगी और नवंबर में काम शुरू हो जायेगा. निविदा की शर्तों के अनुसार काम लेने वाली एजेंसी को अगले 11 महीने में काम पूरा करना होगा. इस पर 89.40 करोड़ रुपये खर्च किये जायेंगे. इसमें दो विद्युत शवदाह गृह और लकड़ी पर शव जलाने के लिए चार चबूतरों का निर्माण होगा.
इस शवदाह गृह परिसर में लोगों के बैठने के लिए सीढ़ीनुमा चबूतरे होंगे और कुर्सियां भी लगी होंगी. वहां टॉयलेट और वाशरूम भी बनेंगे. एक बड़ी पार्किंग भी रहेगी, जहां दोपहिया वाहनों के साथ-साथ चारपहिया वाहनों को भी खड़ा किया जा सकेगा. साथ ही वहां पेड़ और घास लगाकर हरितपट्टी भी बनायी जायेगी, ताकि लोग शांत वातावरण में अपने परिजन या परिचित को अंतिम विदाई दे सकें.
नये शवदाह गृह कांप्लेक्स का निर्माण बांसघाट स्थित वर्तमान विद्युत शवदाह गृह से लगभग एक किमी भीतर में गंगा की वर्तमान जलधारा के करीब होगा. शव जलाने के बाद उसके अवशेष को जल में प्रवाहित करने और अस्थि विसर्जन के लिए गंगा किनारे एक तालाब बनाया जायेगा. इसका एक सिरा शवदाह गृह परिसर से जुड़ा होगा, जबकि दूसरा गंगा किनारे तक फैला होगा. यह किनारे पर बने एक पार्टीशन से गंगा नदी से अलग होगा, लेकिन पार्टिशन इतना पतला होगा कि दूर से देखने पर यह तालाब गंगा नदी का ही हिस्सा दिखेगा. इस तालाब के पानी में गंगा का जल भरा होगा, लेकिन उसे गंगा में फिर से विसर्जित करने से पहले साफ किया जायेगा, ताकि गंगा में शवों के अंश नहीं जा पाये और उसके जल को इससे होने वाले प्रदूषण से बचाया जा सके.