SSET में गलत उत्तर का विकल्प देने पर पटना हाइकोर्ट सख्त, बिहार बोर्ड से मांगा गया हलफनामा
पटना हाइकोर्ट के जस्टिस संजीव प्रकाश शर्मा की एकलपीठ ने नितिन कुमार की याचिका पर सुनवाई करते हुए बोर्ड को हलफनामा दायर करने का निर्देश दिया. कोर्ट ने बिहार परीक्षा समिति को स्पष्ट कर दिया कि सीनियर सेकेंडरी(SSET) शिक्षक की कोई भी अंतरिम नियुक्ति इस मामलें में कोर्ट के निर्णय पर निर्भर करेगा.
पटना. पटना हाइकोर्ट ने सीनियर सेकेंडरी एलिजिबिलिटी टेस्ट (SSET) में बिहार विद्यालय परीक्षा समिति द्वारा गलत उत्तर का विकल्प देने के मामलें को लेकर दायर याचिका पर सुनवाई करते हुए जबाबी हलफनामा दायर करने का निर्देश समिति को दिया है.
कई प्रश्नों के उत्तरों का विकल्प गलत निकला
जस्टिस संजीव प्रकाश शर्मा की एकलपीठ ने नितिन कुमार की याचिका पर सुनवाई करते हुए यह निर्देश दिया. कोर्ट ने बिहार परीक्षा समिति को स्पष्ट कर दिया कि सीनियर सेकेंडरी शिक्षक की कोई भी अंतरिम नियुक्ति इस मामलें में कोर्ट के निर्णय पर निर्भर करेगा. अधिवक्ता रितिका रानी ने कोर्ट को बताया कि 21 सितम्बर, 2020 को बिहार विद्यालय परीक्षा समिति ने सीनियर सेकेंडरी एलिजिबिलिटी टेस्ट लिया था. इनमें समिति ने कई प्रश्नों के उत्तरों का विकल्प गलत दिया था.
कंप्यूटर साइंस में 1673 पदों पर होनी है नियुक्ति
उन्होंने कोर्ट को बताया कि प्रश्न संख्या 4, 50, 59, 85 और 89 के उत्तरों के विकल्प गलत दिया गया था. यह परीक्षा कंप्यूटर साइंस से सम्बंधित था. बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के समक्ष उम्मीदवारों ने 7 गलत विकल्प प्रस्तुत किये, लेकिन समिति ने इन गलतियों को अनदेखा कर दिया. उन्होंने कोर्ट को बताया कि इस प्रकार की गड़बडियां होने के कारण बहुत से उम्मीदवारों का भविष्य खतरे में पड़ गया है. कंप्यूटर साइंस में 1673 पदों पर नियुक्ति होनी हैं.
यथाशीघ्र निष्पादित करने का निर्देश
एक अन्य मामले की सुनवाई करते हुए पटना हाईकोर्ट ने राज्य के पूर्व एंव वर्तमान सांसदों, विधायकों के विरुद्ध लंबित आपराधिक मुकदमों को सम्बंधित न्यायालयों द्वारा दिन प्रति दिन सुनवाई कर तेजी से निष्पादित करने का आदेश दिया. मुख्य न्यायाधीश संजय करोल व न्यायाधीश एस कुमार की खंडपीठ ने इस मामले पर सुनवाई की.
जल्द गवाह पेश करने का निर्देश
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश के तहत पटना हाईकोर्ट में वर्तमान और पूर्व एमपी व एमएलए के विरुद्ध आपराधिक मामलों के शीघ्र निपटारे के लिए सुनवाई की जा रही है. सुनवाई के दौरान कोर्ट ने राज्य के डीजीपी को अभियोजन के डायरेक्टर के साथ अविलंब बैठक कर के गवाही के लिए लंबित मुकदमों में जल्द गवाह पेश करने को कहा है.