पटनावासियों के फेफड़े में भर रहा है धुंआ, दिल्ली से भी ज्यादा प्रदूषित हुए बिहार के ये शहर
पटना की हवा शुक्रवार को 400 के खतरनाक स्तर के करीब पहुंच गयी और शाम चार बजे शहर का एक्यूआइ 396 रहा. स्थिति ये है कि राजधानी पटना की हवा दिल्ली की जैसी प्रदूषित हो गयी है. समनपुरा और उसके आसपास प्रदूषण का स्तर शहर में सबसे अधिक दिखा और यह 400 के खतरनाक स्तर को पार कर 445 तक पहुंच गया.
पटना की हवा शुक्रवार को 400 के खतरनाक स्तर के करीब पहुंच गयी और शाम चार बजे शहर का एक्यूआइ 396 रहा. स्थिति ये है कि राजधानी पटना की हवा दिल्ली की जैसी प्रदूषित हो गयी है. समनपुरा और उसके आसपास प्रदूषण का स्तर शहर में सबसे अधिक दिखा और यह 400 के खतरनाक स्तर को पार कर 445 तक पहुंच गया. बेगूसराय देश का सर्वाधिक प्रदूषित शहर रहा, जहां प्रदूषण 448 एक्यूआइ दर्ज किया गया. सीवान, दरभंगा और पूर्णिया की हवा भी 400 के खतरनाक स्तर या उसके पार दिखी. 300 से अधिक एक्यूआइ वाले देश के 18 प्रदूषित शहरों में 14 बिहार के रहे.
क्यों बढ़ रहा है प्रदूषण
बिहार में प्रदूषण बढ़ने के कई कारण है. इसमें सबसे बड़ा कारण अनियंत्रित निर्माण कार्य है. इसके अलावा सड़क और बिल्डिंग के निर्माण में प्रदूषण नियंत्रण की गाइडलाइन का पालन न करना है. ग्रामीण क्षेत्र में प्रदूषण के अनियंत्रित होने का सबसे बड़ा कारण खेतों में पराली जलाना है. यही कारण है कि सरकार के द्वारा किये जा रहे प्रदूषण नियंत्रण के सभी प्रयास फेल हो रहे हैं.
पटना का क्षेत्रवार एक्यूआइ
समनपुरा : 445
तारामंडल : 405
मुरादपुर : 407
राजबंशी नगर : 388
शिकारपुर, पटना सिटी : 360
डीआरएम कार्यालय, दानापुर : 371
300 से अधिक एक्यूआइ वाले प्रदेश के प्रदूषित शहर
बेगूसराय : 448
सिवान : 417
दरभंगा : 403
पूर्णिया : 400
पटना : 396
मोतिहारी : 334
मुजफ्फरपुर : 326
भागलपुर : 336
राजगीर : 338
कटिहार : 372
हाजीपुर : 326
सहरसा : 373
समस्तीपुर : 379
छपरा : 391