दो करोड़ छात्रों को किताब देने में सरकार विफल : सुशील मोदी
पटना : पूर्व उपमुख्यमंत्री व वरिष्ठ भाजपा नेता सुशील कुमार मोदी ने कहा है कि पहली कक्षा से आठवीं तक के दो करोड़ छात्रों को पुस्तक देने के बजाय उनके खाते में राशि जमा करने की केंद्र सरकार से अनुमति मांग कर राज्य सरकार ने अपनी विफलता स्वीकार कर ली है. क्या सरकार अब यह […]
पटना : पूर्व उपमुख्यमंत्री व वरिष्ठ भाजपा नेता सुशील कुमार मोदी ने कहा है कि पहली कक्षा से आठवीं तक के दो करोड़ छात्रों को पुस्तक देने के बजाय उनके खाते में राशि जमा करने की केंद्र सरकार से अनुमति मांग कर राज्य सरकार ने अपनी विफलता स्वीकार कर ली है.
क्या सरकार अब यह निर्णय भी लेगी कि वह स्कूल नहीं चला सकती, इसलिए राशि दे देगी ताकि छात्र निजी स्कूलों या जहां चाहे अपनी पढ़ाई पूरी कर लें. विधानमंडल में सरकार ने घोषणा की थी कि सत्र प्रारंभ होने के साथ ही छात्रों को पुस्तकें उपलब्ध करा दी जायेगी. तीन माह बीत जाने के बावजूद 10 करोड़ पुस्तक की छपाई के लिए न टेंडर और न ही प्रिंटर का चयन हुआ है
.
पिछले चार वर्षों से सरकार पहली अप्रैल से प्रारंभ होने वाले सत्र के छात्रों को अक्तूबर-नवंबर में आधी-अधूरी पुस्तकें उपलब्ध कराती रही है. पिछले साल तो 60 लाख से अधिक छात्र किताबों से वंचित रह गये. अब अपनी विफलता छुपाने के लिए सरकार पुस्तक के एवज में छात्रों के खाते में पैसा जमा करने की योजना बना रही है.
मोदी ने कहा कि छात्रों से पुरानी पुस्तकें वापस लेने की सरकार की योजना भी विफल रही है. 15 प्रतिशत पुस्तकें भी वापस जमा नहीं हुई है और उनमें भी आधी फटी हुई हैं. शिक्षा से लेकर परीक्षा के संचालन तक में सरकार पूरी तरह से फेल हो चुकी है. जब शिक्षक नहीं होंगे, समय पर वेतन नहीं मिलेगा, छात्रों को पुस्तकें नहीं मिलेगी, पढ़ाई नहीं होगी तो लाखों छात्र फेल नहीं तो पास कैसे होंगे.