पटना : राजधानी में गुरुवार को राज्यभर से आये मुखियाओं ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए पंचायतों से जुड़ी समस्याओं को उठाया. पटना के एसके मेमोरियल हॉल में आयोजित ग्राम स्वराज बचाओ महासम्मेलन में वक्ताओं ने ग्राम स्वराज के अधिकार में हो रही कटौती के खिलाफ जोरदार ढंग से आवाज बुलंद की. इस मौके पर वक्ताओं ने कहा कि मुखियाओं के अधिकारों में कटौती की जा रही है. नीतीश सरकार हमारे अधिकारों में धीरे-धीरे कटौती कर रही है. महासम्मेलन में वक्ताओं ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को चेतावनी देते हुए कहा कि हमारी मांगों को अगर नीतीश सरकार पूरा नहीं करेगी, तो आगामी विधानसभा चुनाव में इसका खामियाजा भुगतना होगा. ग्राम स्वराज महासम्मेलन में सूबे के सभी 38 जिलों के मुखिया अपने-अपने समर्थकों के साथ शामिल हुए. सम्मेलन खत्म होने के बाद सभी मुखिया विरोध प्रदर्शन करते हुए डाकबंगला चौराहा तक पहुंच गये. जहां पुलिस ने उन्हें रोकने की पूरी कोशिश की.
बिहार प्रदेश मुखिया संघ के अध्यक्ष अशोक कुमार सिंह ने ग्राम स्वराज बचाओ महासम्मेलन का उद्घाटन करते हुए कहा कि अधिकारों में कटौती होने से मुखिया अपनी-अपनी पंचायतों के लोगों को उचित मदद नहीं कर पा रहे हैं. इससे गांवों में रहनेवाली आम जनता त्रस्त है. उन्हें समुचित सुविधाएं नहीं मिल पा रही हैं. वहीं, प्रदेश के मीडिया प्रभारी अजीत कुमार ने कहा कि सम्मलेन में शामिल सभी मुखियाओं की मांग है कि राज्य सरकार द्वारा लाया गया क्रियान्वयन एवं अनुश्रवण प्रबंधन समिति से संबंधित अध्यादेश वापस लिया जाये. साथ ही कहा कि क्रियान्वयन समिति से परेशानी नहीं है. लेकिन, प्रबंधन समिति के हस्तक्षेप से जनता के विकास कार्यों में परेशानी उत्पन्न होगी. सभी वक्ताओं ने एक सुर से कहा कि अगर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सहयोग नहीं करेंगे, तो आनेवाले विधानसभा चुनाव में उनका विरोध किया जायेगा.