पटना : बिहार में हाल में बदले राजनीतिक समीकरण और एनडीए के साथ मिलकर नीतीश कुमार द्वारा सरकार बनाये जाने के खिलाफ पटना हाइकोर्ट में दायर याचिका खारिज हो गयी. सोमवार को सरोज यादव की ओर से दायर की गयी याचिका पर सुनवाई करते हुए मुख्य न्यायमूर्ति राजेंद्र मेनन की खंडपीठ ने कहा कि यह संवैधानिक प्रक्रिया है. कोर्ट ने बोमई केस का हवाला देते हुए कोर्ट द्वारा हस्तक्षेप करने से मना कर दिया. इससे पूर्व कोर्ट ने 28 जुलाई को राजद की ओर से दायर इस याचिका को मंजूर कर लिया था.
Patna HC dismisses RJD MLA Saroj Yadav's petition against formation of JDU-BJP Government in the state
— ANI (@ANI) July 31, 2017
सरकार गठन के खिलाफ दायर इस याचिका में कहा गया था कि वह नीतीश सरकार के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में भी चुनौती देंगे. याचिका में नीतीश कुमार के साथ राज्यपाल केशरी नाथ त्रिपाठी पर भी नियमों की अनदेखी करने का आरोप लगाया गया था. हाल में सरकार ने विधानसभा में विश्वास मत हासिल कर लिया है और सरकार के मंत्री अपने-अपने कार्यालय जाकर सोमवार से पदभार भी संभाल रहे हैं. विश्वासमत के दौरान सरकार के पक्ष में 131 मत पड़े थे, जबकि दूसरी ओर महागठबंधन को 108 मत मिले थे.
राजद की ओर से इस मसले को लेकर सुप्रीम कोर्ट के वकील से भी बात की गयी है. राजद ने अपनी याचिका में यह भी कहा था कि वह बड़ी पार्टी थी और राज्यपाल को सरकार बनाने के लिए उन्हें निमंत्रित करना चाहिए था. उधर, आज नयी सरकार में उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने अपने कार्यालय में जाकर पदभार ग्रहण किया.
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