बिहार : विपक्ष के रवैये से नीतीश दुखी, तेजस्वी बोले- सृजन घोटाले में इस्तीफे के बिना निष्पक्ष जांच संभव नहीं

पटना : बिहार विधानमंडल के मानसून सत्र में विपक्षी सदस्यों के व्यवहार को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आहत हैं. विधान परिषद में जिस तरह का आचरण विपक्षियों द्वारा किया गया, उसे लेकर नीतीश कुमार ने दुख व्यक्त किया. विधान परिषद में राजद के सदस्यों ने सृजन घोटाले के मुद्दे पर हंगामा किया, उसके बाद उप […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | August 25, 2017 4:20 PM

पटना : बिहार विधानमंडल के मानसून सत्र में विपक्षी सदस्यों के व्यवहार को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार आहत हैं. विधान परिषद में जिस तरह का आचरण विपक्षियों द्वारा किया गया, उसे लेकर नीतीश कुमार ने दुख व्यक्त किया. विधान परिषद में राजद के सदस्यों ने सृजन घोटाले के मुद्दे पर हंगामा किया, उसके बाद उप सभापति ने राजद के सदस्यों को मार्शल के जरिये सदन से बाहर निकलवाया. उधर, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी पूरी तरह राजद के रवैये से दुखी दिखे. उन्होंने अपनी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि उच्च सदन में इस तरह का आचरण सही नहीं है. उन्होंने कहा कि संसदीय परंपरा की मर्यादा तोड़ी जा रही है. सदन नहीं चलने दिया जा रहा है. उन्होंने कहा कि वेल में आकर जो हंगामा किया जा रहा है, वह आचरण ठीक नहीं है.

इससे पूर्व सृजन घोटाला मामले में राजद के सदस्य हंगामा करते हुए वेल में पहुंच गये थे. कांग्रेस के सदस्य भी अपनी सीट पर खड़े होकर नारेबाजी करने लगे. बाद में कार्रवाई दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी गयी. उधर, विधानसभा में प्रतिपक्ष के नेता तेजस्वी यादव ने सृजन घोटाले में हो रही मौत का मामला उठाते हुए सरकार की मंशा पर सवाल उठाया. तेजस्वी ने कहा कि सदन में विपक्ष की आवाज को दबाया जा रहा है. बोलने नहीं दिया जा रहा है. वर्तमान सरकार सृजन मामले में निष्पक्ष जांच नहीं चाहती है. तेजस्वी ने सृजन घोटाले के आरोपितों की मौत पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि सृजन में एक नहीं बल्कि कई मौतें हुई है. तेजस्वी यादव ने साफ कहा कि भागलपुर के अलावा और कहां से पैसा निकाला गया है, इसकी जानकारी सरकार दे. तेजस्वी ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में जांच हो और बिना मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और सुशील मोदी के इस्तीफे के निष्पक्ष जांच संभव नहीं है.

तेजस्वी के सवाल पर उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने कहा कि चोर मचाये शोर. राबड़ी देवी के समय ही सृजन घोटाला शुरू हुआ था. सृजन संस्था को कैसे 24 डिसमिल जमीन दिया गया. सृजन के खाते में सरकारी धन को जमा करने का आदेश किसने दिया. मेरे बारे में कोई कागज हो, तो राजद सीबीआइ को सौंपे. वहीं दूसरी ओर कांग्रेस के सदस्य के साथ महागठबंधन सरकार में वित्त मंत्री रहे अब्दुल बारी सिद्दीकी ने कहा कि सृजन घोटाले में विपक्ष के कार्यस्थगन प्रस्ताव को अस्वीकृत कर देना लोकतंत्र की पूरी तरह हत्या है.

यह भी पढ़ें-
सृजन घोटाले की जानकारी तत्कालीन मुख्यमंत्री और वित्त मंत्री को थी, इसका कोई साक्ष्य नहीं : सुमो

Next Article

Exit mobile version