पटना: राजद सुप्रीमो एवं पूर्व रेल मंत्री लालू प्रसाद यादव का रेल प्रेम एक बार फिर से जगा है. इसी कड़ी में लालू प्रसाद यादव आज शामपटनासे भागलपुरकेलिए ट्रेनमें सफर करेंगे. बता दें कि बिहारके चर्चित सृजन घोटाला मामले को लेकर नीतीश सरकारकेखिलाफ रविवार को राजद की आेर से भागलपुर में एक रैली का आयोजन किया गया है. जिसमें शामिल होने के लिए राजद सुप्रीमो तीन साल बाद पटना से भागलपुर के लिए ट्रेन में सफर करेंगे.
राजद सुप्रीमो के इस ट्रेन सफर में लालू प्रसाद के साथ उनके दोनों पुत्र तेजस्वी यादव और तेज प्रताप यादव भी मौजूद रहेंगे. लालू यादव भागलपुर के लिए पटना से इंटरसिटी एक्सप्रेस में सवार होंगे. जबकि भागलपुर से पटना वापसी के लिए वे डिब्रुगढ़ राजधानी एक्सप्रेस में रविवार को यात्रा करेंगे. राजद सुप्रीमो करीब तीन साल बाद पहली बार ट्रेन में सफर करेंगे. अंतिम बार लालू यादव ने2014में झारखंड विधानसभा चुनाव के दौरान रांची से साहेबगंज के राजमहल तक ट्रेन से यात्रा किया था.
मीडिया में राजद के सूत्रों के हवाले से बताया जा रहा है कि स्वास्थ्य संबंधी कारणों से डॉक्टरोंद्वारा लालू यादव को सड़क माध्यम से लंबी दूरी की यात्रा से परहेज करनेको कहा है. मालूम हो कि सृजन घोटाला का जड़ भागलपुरमें है. जो राजधानी पटना से लगभग 270 किमी की दूरी पर स्थित है. सृजन घोटाला मामले में अनेकों राजनीतिक, ब्यूराेक्रेट्स और सरकारी अधिकारियों के नाम जुड़े होने की बात सामने आ रही है. अब तक इस मामले में 18 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है. जिसमें एक आरोपी महेश मंडल की मौत हो चुकी है.
बता दें कि लालू यादव 2004 से लेकर 2009 तक रेल मंत्री रहे थे. उस दौरान रेलवे ने लालू यादव के लिए एक विशेष कोच तैयार किया था. जिसमें ड्राईंग रूम, बेडरूम के साथ-साथ मॉडर्न किचन की व्यवस्था की गयी थी. अब पटना से भागलपुर के लिए रेल यात्रा के दौरान लालू यादव चेयर कार में यात्रा करेंगे. इंटरसिटी एक्सप्रेस पटना जंक्शन से आज शाम 4:40 में खुलेगी और भागलपुर आज रात 10:25 में पहुंचेगी. इसके बाद रविवार को रैली को संबोधित करने के बाद लालू यादव राजधानी ट्रेनपर 5:14बजे नवगछिया से पटना के लिए सवार होंगे. लालू यादव इस ट्रेन के फर्स्ट एसी कोच में सफर करेंगे. जो पटना जंक्शन पर रविवार रात 10:08 बजे पहुंचेगी. इससे पहले तेजस्वी यादव ने भागलपुर में जनादेश अपमान यात्रा के दौरान सृजन घोटाला मामले को नीतीश कुमार पर जमकर निशाना साधा था.
हालांकि सृजन घोटाले में अभी तक लालू यादव नेअबतक कोई भी नया खुलासा नहीं किया है. उन्होंने सीबीआइ से जांच कराने की मांग की जिसे नीतीश कुमार ने मानते हुए उसके आदेश दे दिये. नीतीश ने यहां तक कहा कि अगर सीबीआइ जांच पर संतोष न हो तब सप्रीम कोर्ट या पटना हाईकोर्ट से इसकी मॉनिटरिंग की मांग करते हुए उन्हें याचिका दायर करनी चाहिए और कोर्ट का आदेश हो तब भी उन्हें कोई आपत्ति नहीं होगी .
लालू यादव का कहना है कि जब तक नीतीश और सुशील मोदी बिहार के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री हैं इस मामले की जांच निष्पक्ष नहीं हो सकती. हालांकि लालू यादव का कहना ये भी है कि इस मामले में नीतीश को फंसा कर भाजपा उनसे इस्तीफा ले लेगी, लेकिन वे चाहे लालू हों या तेजस्वी, किसी ने नीतीश कुमार या सुशील मोदी द्वारा इस मामले के घोटालेबाजों के साथ मिलीभगत के कोई सबूत आज तक नहीं दिये हैं.