रेलकर्मियों को मिलेगा फायदा, रेलवे में अब 15 दिनों में ही होगा म्यूचुअल ट्रांसफर….जानें पूरा मामला
संजीत उपाध्याय आरा/पटना भारतीय रेलवे में काम करनेवाले कर्मियों को म्यूचुअल ट्रांसफर के लिए अब वर्षों तक इंतजार नहीं करना पड़ेगा. म्यूचुअल ट्रांसफर के लिए आवेदन देने के 15 दिन बाद ही उनकी पोस्टिंग कर दी जायेगी. इससे देश के हजारों रेलकर्मियों को फायदा होगा. इस संबंध में रेलवे बोर्ड के डिप्टी डायरेक्टर स्थापना एमके […]
संजीत उपाध्याय
आरा/पटना
भारतीय रेलवे में काम करनेवाले कर्मियों को म्यूचुअल ट्रांसफर के लिए अब वर्षों तक इंतजार नहीं करना पड़ेगा. म्यूचुअल ट्रांसफर के लिए आवेदन देने के 15 दिन बाद ही उनकी पोस्टिंग कर दी जायेगी. इससे देश के हजारों रेलकर्मियों को फायदा होगा.
इस संबंध में रेलवे बोर्ड के डिप्टी डायरेक्टर स्थापना एमके मीना ने पत्र भेज कर देश के सभी जोन के जीएम व प्रोडक्शन यूनिट के हेड को आदेश जारी किया है कि इस पर तुरंत कार्रवाई शुरू करें, ताकि म्यूचुअल ट्रांसफर के लिए वर्षों से लंबित फाइल को आगे बढ़ाया जा सके.
रेलवे बोर्ड के नये चेयरमैन अश्विनी लोहानी के आने के बाद से ही सुस्त गति से चल रही रेलवे की व्यवस्था में अचानक तेजी आ गयी है. हाल ही में उन्होंने अंग्रेजों के जमाने से चली आ रही परंपरा को समाप्त करते हुए अधिकारियों के बंगले पर काम करनेवाले गैंगमैन को हटाने का आदेश जारी किया था.
पांच अक्तूबर तक मांगी गयी है रिपोर्ट
रेलवे बोर्ड के डिप्टी डायरेक्टर ने 30 सितंबर तक लंबित मामलों को निबटाने का निर्देश दिया है. इसके बाद रिपोर्ट रेलवे बोर्ड में भेजने को कहा है. अंतिम रिपोर्ट पांच अक्तूबर तक रेलवे बोर्ड, नयी दिल्ली में भेजने का निर्देश जारी किया गया है ताकि इस पर पॉलिसी बनाकर काम शुरू कर दिया जा सके.
क्या है म्यूचुअल ट्रांसफर
म्यूचुअल ट्रांसफर दो कर्मचारियों की आपसी सहमति से होता है. कर्मचारी जोन बदलने के लिए आवेदन देते हैं. इस पर अमल करते हुए कर्मियों का तबादला किया जाता है. रेलवे में सैकड़ों ऐसे मामले हैं, जो वर्षों से ठंडे बस्ते में पड़े हैं. ईस्ट सेंट्रल कर्मचारी यूनियन, आरा के अध्यक्ष मनोज पांडेय ने कहा कि रेलवे बोर्ड के इस फैसले का यूनियन स्वागत करती है.