नयी दिल्ली : जदयू के बागी नेता शरद यादव ने केंद्र सरकार के नोटबंदी के फैसले और जीएसटी के कारण व्यापारियों को हुई परेशानियों के विरोध में विपक्ष द्वारा देशव्यापी अभियान शुरू किये जाने कीआज घोषणा की. शरद यादव का यह फैसला उनके धड़े की राष्ट्रीय परिषद कीकल होने वाली बैठक के एक दिन पहले आया है. शरद यादव ने हजार और पांच सौ रुपये के नोटों को नवंबर में बंद करने के फैसले और वस्तु एवं सेवा कर लागू करने के लिए सरकार पर हमला बोला और कहा कि दोनों कदमों ने अर्थ व्यवस्था को बर्बाद कर दिया खासतौर पर छोटे और मझोले उद्योगों कों. उन्होंने जोर देकर कहा कि 2019 में होने वाला लोक सभा चुनाव आर्थिक मुद्दे पर लड़ा जायेगा.
शरद यादव ने कहा, सच्चाई यह है कि जिस तरह का इंस्पेक्टर राज आज हम देख रहे हैं वह पहले कभी दिखाई नहीं दिया. लेखा जोखा त्रुटियां जैसे गलत प्रविष्ठियां भरने को अपराध कहा जा रहा है और व्यापारियों को जेल भी हो सकती है. हम (विपक्ष) शीघ्र देशव्यापी बड़ा अभियान शुरू करेंगे. वहीं,शरद यादव के करीबी अरुण श्रीवास्तव ने दावा किया कि जदयू नेताओं का बहुमत उनके धड़े के साथ है. उन्होंने दावा किया कि पार्टी की राष्ट्रीय परिषद के 1045 सदस्यों में से तकरीबन पांच सौ से छह सौ सदस्य कल की बैठक में हिस्सा लेंगे. उन्होंने कहा कि राज्यसभा सदस्य एवं पार्टी के केरल इकाई के प्रमुख एमपी वीरेंद्र कुमार भी इसमें हिस्सा लेंगे.
गौरतलब है कि बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के भाजपा में शामिल होने के फैसले के विरोध में यादव पार्टी से अलग हो गये हैं और उन्होंने चुनाव आयोग से मांग की है कि उनके धड़े को जदयू की पहचान और पार्टी का चुनाव चिह्न दिया जाये. चुनाव आयोग ने उनसे दावे के पक्ष में साक्ष्य जमा कराने को कहा है.