पटना :जीएसटी के अंतर्गत कंपोजिट स्कीम के छोटे करदाताओं को और अधिक राहत प्रदान करने के लिए भारत सरकार ने पांच सदस्यीय मंत्री समूह का गठन किया है. इसमें बिहार के उपमुख्यमंत्री सह वित्त मंत्री सुशील कुमार मोदी को भी सदस्य के रूप में शामिल किया गया है. इसके पहले मोदी को जीएसटीएन के लिए गठित मंत्री समूह का संयोजक बनाया गया था.
दो दिन पूर्व कंपोजिट स्कीम में शामिल व्यापारियों की टर्न ओवर की सीमा 75 लाख से बढ़ा कर एक करोड़ कर उन्हें बड़ी राहत दी गयी थी, वहीं अब कर मुक्त माल की बिक्री पर कर भुगतान से राहत देने, माल की अंतरप्रांतीय बिक्री की छूट देने तथा इनपुट टैक्स क्रेडिट की सुविधा देने पर विचार के लिए एक और मंत्री समूह का गठन किया गया है. मंत्री समूह के संयोजक असम के वित्त मंत्री डॉ हिमंत विश्वशर्मा बनाये गये हैं. इसमें मोदी सहित अन्य चार राज्यों के वित्त मंत्री शामिल हैं.
मंत्रियों का समूह विचार करेगा कि कंपोजिट डीलर, जिन्हें एक करोड़ तक की बिक्री पर मात्र एक प्रतिशत कर भुगतान करना है, उन्हें क्या कर मुक्त माल की बिक्री पर कर भुगतान से छूट दी जा सकती है? दूसरे, अब तक के प्रावधान के अनुसार कंपाउंडिंग डीलर दूसरे राज्य से माल तो मंगा सकते हैं, मगर दूसरे राज्यों में उसे बेच नहीं सकते हैं, क्या उन्हें दूसरे राज्यों में माल बेचने का अधिकार दिया जा सकता है? तीसरे, क्या कंपाउंडिंग डीलर को इनपुट टैक्स क्रेडिट की सुविधा दी जा सकती है?
इसके अलावा यह समूह एयरकंडीशन और नन एयरकंडीशन रेस्तरां पर लगनेवाले कर पर भी विचार कर अपनी रिपोर्ट देगा, जिसके आधार पर 9-10 नवंबर को गुवाहाटी में होनेवाली जीएसटी परिषद की बैठक में छोटे करदाताओं को और ज्यादा राहत देने का निर्णय लिया जा सकता है.