बिहार विधानमंडल सत्र के पहले दिन राजद विधायकों ने किया अनोखा प्रदर्शन, जानें

पटना : बिहार विधानमंडल के शीतकालीन सत्र के पहले दिन राजद विधायकों की तरफ से अनोखा प्रदर्शन भी देखने को मिला. राजद विधायकों ने नीतीश और सुशील मोदी का मुखौटा पहन रखा था. नीतीश कुमार और सुशील मोदी का मुखौटा लगाये विधायक अपने बदन में घोटालों की सूची भी टांगे हुए थे. राजद विधायकों का […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 27, 2017 2:02 PM

पटना : बिहार विधानमंडल के शीतकालीन सत्र के पहले दिन राजद विधायकों की तरफ से अनोखा प्रदर्शन भी देखने को मिला. राजद विधायकों ने नीतीश और सुशील मोदी का मुखौटा पहन रखा था. नीतीश कुमार और सुशील मोदी का मुखौटा लगाये विधायक अपने बदन में घोटालों की सूची भी टांगे हुए थे. राजद विधायकों का प्रदर्शन जिस समय चल रहा था ठीक उसी समय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी वहां पर पहुंचे और सभी का अभिवादन स्वीकार करते हुए सदन में चले गये. बिहार विधानसभा और बिहार विधान परिषद के मुख्य द्वार पर राजद के विधान मंडल सदस्यों ने जमकर हंगामा किया. सृजन घोटाला, शौचालय घोटाला, तटबंध घोटाला सहित अन्य मुद्दों को लेकर राजद विधायकों और विधान पार्षदों ने विरोध प्रदर्शन किया. हाथों में तख्तियां लिए राजद के विधान मंडल सदस्य सरकार के खिलाफ नारेबाजी कर रहे थे. राजद के सचेतक भाई वीरेंद्र के नेतृत्व में राजद विधायकों ने बिहार विधानसभा के मुख्य द्वार पर प्रदर्शन किया.

बिहार विधानमंडल का सत्र सोमवार से शुरू हुआ. बिहार विधानमंडल के बाहर सुरक्षा व्यवस्था काफी सख्त थी लेकिनअंदर राजद विधायकों का जबरदस्त हंगामा देखने को मिला. बिहार विधानसभा और बिहार विधान परिषद के मुख्य द्वार पर राजद विधायकों और विधान पार्षदों ने जमकर हंगामा किया. विभिन्न घोटालों के विरोध में राजद विधायकों ने नारेबाजी भी की. हंगामे के बीच बिहार विधानमंडल का सत्र सोमवार से शुरू हो गया है. इससे पूर्व में रविवार को राबड़ी देवी के सरकारी आवास पर आयोजित राजद-कांग्रेस विधायक दल की बैठक में ही निर्णय लिया जा चुका था कि राजद और कांग्रेस विधायक पूरी आक्रामकता के साथ सरकार को कई मुद्दों पर घेरेंगे. कार्य स्थगन प्रस्ताव दिये जाने पर भी सहमति बनी थी. राज्य में जारी विभिन्न घोटालों तथा अन्य मुद्दों पर विपक्ष की ओर से कार्य स्थगन प्रस्ताव पेश किये जाने और कार्य स्थगन प्रस्ताव को मंजूरी नहीं मिलने की स्थिति में सदन के अंदर विरोध करने की नीति पर सहमति बनी थी. राबड़ी देवी के आवास पर आयोजित बैठक में राजद के अलावा कांग्रेस के भी प्रतिनिधि शामिल हुए थे.

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