बिहार : अब फ्री सेल में पहले की तरह ही बिकेगा बालू और गिट्टी

पटना : बालू घाटों व पत्थर खदानों की बंदोबस्ती, इनका खनन, परिवहन और इनकी बिक्री पुरानी नियमावली से करने के बुधवार को राज्य सरकार की घोषणा के बाद पुराने खुदरा बिक्रेता भी इसे फिर से बेच सकेंगे. इसका मकसद प्रदेश में बालू-गिट्टी संकट को जल्द दूर करना और रुके निर्माण कार्यों को गति देना है. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | December 22, 2017 7:38 AM
पटना : बालू घाटों व पत्थर खदानों की बंदोबस्ती, इनका खनन, परिवहन और इनकी बिक्री पुरानी नियमावली से करने के बुधवार को राज्य सरकार की घोषणा के बाद पुराने खुदरा बिक्रेता भी इसे फिर से बेच सकेंगे. इसका मकसद प्रदेश में बालू-गिट्टी संकट को जल्द दूर करना और रुके निर्माण कार्यों को गति देना है.
वहीं बचे हुए बालू घाटों व पत्थर खदानों का बंदोबस्त करने की तैयारी में खान एवं भूतत्व विभाग लगा हुआ है. फिलहाल पूर्णिया, गोपालगंज, सीवान, पश्चिम चंपारण, किशनगंज, सुपौल और मोतिहारी जिले के लिए टेंडर निकाला गया है. पुरानी नियमावली से इनके लिए रिवर्स ई-ऑक्शन होगा.
पटना हाईकोर्ट के आदेश के बाद से बंदोबस्तधारी और बिहार राज्य खनन निगम लिमिटेड दोनों बालू-गिट्टी की बिक्री कर रहे हैं. अब सरकार के आदेश के बाद स्थानीय स्तर पर पहले से तैनात इसके खुदरा बिक्रेता भी फिर से इसे बेच सकेंगे. उन्हें बंदोबस्तधारियों से बालू-गिट्टी मिलेगी. वहीं निगम से लाइसेंस प्राप्त खुदरा बिक्रेता भी अपना कारोबार करेंगे.
ई-चालान से होगा ईंटों का परिवहन
खान एवं भूतत्व विभाग ने गुरुवार को सभी ईंट-भट्ठा मालिकों से कहा है कि 15 जनवरी, 2018 से ईंटों का परिवहन ई-चालान से होगा. इसके प्रशिक्षण के लिए तीन और चार जनवरी को श्रीकृष्ण मेमोरियल हॉल में एक कार्यशाला आयोजित की जायेगी. इसमें अलग-अलग रूटीन के अनुसार सभी जिले के ईंट-भट्ठा मालिकों को प्रशिक्षण के लिए बुलाया गया है.
क्या कहते हैं अधिकारी
खान एवं भूतत्व विभाग के विशेष सचिव सह निदेशक असंगबा चुबा आओ ने कहा कि सरकार के निर्देशानुसार सभी प्रक्रिया पुरानी नियमावली से संचालित की जायेगी. एक व्यक्ति को अधिकतम 100 हेक्टेयर एरिया के लिए ही बालू घाट की बंदोबस्ती की जायेगी. इसमें तकनीकी पहलू यह है कि छोटे भूखंड का संचालन अासानी से होता है.
साथ ही छोटे भूखंड पर खनन के लिए पर्यावरणीय स्वीकृति जिला स्तर के डिया से ली जा सकती है. वहीं नियमानुसार बड़ा भूखंड होने पर इसकी पर्यावरणीय अनुमति राज्य स्तर के सिया से लेना पड़ेगा. उन्होंने कहा कि बालू-गिट्टी के परिवहन के लिए वाहनों में ई-लॉक व जीपीएस लगाना अनिवार्य है.
खान व भूतत्व मंत्री
खान एवं भूतत्व विभाग के मंत्री विनोद कुमार सिंह ने कहा कि बालू और गिट्टी की पूरी प्रक्रिया पुरानी नियमावली से संचालित की जायेगी. इसके तहत पुराने खुदरा बिक्रेता भी अब बालू-गिट्टी का कारोबार कर सकते हैं. साथ ही जिन बालू घाटों व पत्थर खदानों का टेंडर नहीं हुआ है, वह पुरानी नियमावली से किया जायेगा.

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