बीते साल घूस लेते पकड़ाये 90 लोक सेवक

निगरानी ब्यूरो ने वर्ष 2017 के दौरान ट्रैप के 83 मामले को दिया अंजाम पटना : बीते साल वर्ष 2017 के दौरान निगरानी ब्यूरो ने भ्रष्टाचार के खिलाफ ‘जीरो टॉलरेंस’ की नीति के तहत विभिन्न स्तर के 90 लोक सेवकों को घुस लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया है. ट्रैप के 83 मामलों में इतने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 4, 2018 8:59 AM
निगरानी ब्यूरो ने वर्ष 2017 के दौरान ट्रैप के 83 मामले को दिया अंजाम
पटना : बीते साल वर्ष 2017 के दौरान निगरानी ब्यूरो ने भ्रष्टाचार के खिलाफ ‘जीरो टॉलरेंस’ की नीति के तहत विभिन्न स्तर के 90 लोक सेवकों को घुस लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया है.
ट्रैप के 83 मामलों में इतने भ्रष्ट लोक सेवक धराये हैं, जिसमें सबसे ज्यादा संख्या पुलिस महकमा के सिपाही से लेकर इंस्पेक्टर तक के पदाधिकारियों की है. 90 में करीब एक-चौथाई यानी 21 लोक सेवक पुलिस महकमा से ही जुड़े हुए हैं. इसमें सबसे ज्यादा संख्या दारोगा और जमादार की है. पुलिस पदाधिकारियों के बाद सबसे ज्यादा संख्या राजस्व पदाधिकारियों, बिजली विभाग और आंगनबाड़ी कर्मियों की है. ट्रैप के मामलों में इनकी संख्या भी काफी अच्छी है. इसके अलावा आय से अधिक संपत्ति (डीए) मामले में 13 पदाधिकारियों के खिलाफ भी कार्रवाई हो चुकी है.
डीए मामले में जिला निबंधन पदाधिकारी से लेकर एडीएम रैंक के पदाधिकारी शामिल हैं. इसके अलावा भ्रष्टाचार से जुड़े अन्य मामलों में 23 वैसे पदाधिकारियों पर भी कार्रवाई हुई है, जो खासतौर से आधारभूत संरचना या इंजीनियरिंग विभागों से जुड़े हुए हैं. विभिन्न सरकारी निर्माण कार्यों में जांच के दौरान सामने आयी व्यापक गड़बड़ी के बाद निगरानी की तरफ से यह कार्रवाई की गयी है. इसमें फंसने वालों में तकरीबन सभी इंजीनियर या इसके समकक्ष रैंक के पदाधिकारी हैं. इस तरह वर्ष 2017 में निगरानी विभाग ने कुल 119 मामले दर्ज कर करके भ्रष्ट लोक सेवकों पर नकेल कसने का काम किया है.
सबसे ज्यादा पटना से दबोचे गये लोक सेवक
ट्रैप के मामले में सबसे ज्यादा भ्रष्ट लोक सेवक पटना जिला से पकड़े गये हैं, इनकी संख्या 11 है. इसके बाद गया एवं वैशाली से आठ, नालंदा से छह, पूर्वी चंपारण एवं मुजफ्फरपुर से पांच, पश्चिम चंपारण से चार और नवादा एवं भोजपुर से तीन अलग-अलग पदों के लोक सेवक रंगे हाथ घुस लेते हुए दबोचे जा चुके हैं. अन्य जिलों से दो या एक की संख्या में लोक सेवक पकड़े गये हैं.

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