पटना : भारतीय जनता पार्टी के कई असंतुष्ट नेता पार्टी के इतर अपनी गतिविधियों में संलिप्त रहते हैं और पार्टी को सियासी झटका देने में लगे रहते हैं. इसी क्रम में भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा कल यानी 21 अप्रैल को पटना में गैर भाजपाई दलों की एक बैठक बुला रहे हैं. इस बैठक की अध्यक्षता स्वयं यशवंत सिन्हा करेंगे. इसमें शामिल होने के लिए सभी नेताओं को आमंत्रित किया गया है. इससे पूर्व भी यशवंत सिन्हा और सांसद शत्रुघ्न सिन्हा दिल्ली में ममता बनर्जी के साथ बाकी दलों के नेताओं से मिल चुके हैं. पटना में होने वाली इस बैठक में गैर भाजपा दल शामिल होंगे. जानकारी के मुताबिक इस बैठक में राजद नेता तेजस्वी यादव भी शामिल होंगे.
एक क्षेत्रीय चैनल से बातचीत में यशवंत सिन्हा ने यह स्वीकार किया है कि इस बैठक में कांग्रेस के अलावा दूसरे गैर भाजपाई दल शामिल होंगे. इसमें शामिल होने के लिए तेजस्वी यादव ने अपनी स्वीकृति दे दी है. यशवंत सिन्हा ने एक बार फिर अपने पहले की बातों को दुहराते हुए कहा कि वर्तमान में देश की हालत ठीक नहीं है और समाज में तनाव जैसी स्थिति है. पूरा देश निराश है और जनता भी निराश है, जिसने नरेंद्र मोदी को वोट दिया था.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक यशवंत सिन्हा केंद्र सरकार की विफलता और वर्तमान परिस्थितियों को सामने रखकर एक फेडरल और ग्रैंड एलायंस बनाने की ओर बढ़ रहे हैं. हालांकि, उन्होंने मीडिया से बातचीत में इस संभावना के घोषणा की बात से अभी इनकार किया है. हालांकि, उन्होंने यह कहा है कि गैर भाजपा दलों से बातचीत और उनके बीच सहमति बनाने पर विचार किया जा रहा है. यह कोशिश कामयाब होगी.
हाल के दिनों में बैंकों में कैश की कमी और किल्लत पर अपनी प्रतिक्रिया देते हुए यशवंत सिन्हा ने मीडिया से यह कहा है कि वित्त मंत्री अरुण जेटली इसके लिए जिम्मेदार हैं. उन्होंने कहा कि इस संबंध में मंत्री के तर्क सही नहीं हैं. यशवंत सिन्हा ने कहा कि करेंसी प्रिंट होने का मामला देश की जीडीपी से जुड़ा है. उन्होंने यह भी बताया है कि कैश की किल्लत को रुपये की निकासी से जोड़कर देखना गलत है.