पटना : भाजपा के प्रवक्ता विजय सोनकर ने कांग्रेस पर दलितों के बीच देशभर में भ्रम की स्थिति पैदा करने का आरोप लगाते हुए पूछा है कि इस दल को स्पष्ट करना चाहिए कि उसने आज तक दलितों के लिए क्या किया है? सोनकर ने भाजपा के प्रदेश कार्यालय में पत्रकारों से कहा कि ब्रिटिश हुकूमत में 1935 में बनी दलित समुदाय की सूची को 1936 में लागू कर आरक्षण दिया था और भीम राव आंबेडकर के दबाव से यह आरक्षण मिला था.
उन्होंने कहा कि आरक्षण एक ही सूरत में समाप्त हो सकता है, जब उसकी मंशा के अनुसार देश में सामाजिक वातावरण बने. लोगों के बीच जो कटुता है, वह समाप्त हो. आत्मीयता तथा सामाजिक समरसता कायम हो और उसके बाद ही तय होगा कि आरक्षण का प्रावधान रहेगा या नहीं. लेकिन, जब तक ये सामाजिक कारण नहीं समाप्त होते हैं, तब तक आरक्षण रहेगा. क्योंकि, अनुसूचित जाति-जनजाति को आरक्षण आर्थिक एवं शैक्षणिक रूप से सशक्त बनाने के लिए दिया गया है.
उन्होंने कहा कि दलितों को संवैधानिक संरक्षण भी आंबेडकर की देन है. उन्होंने कहा कि ऐसे में कांग्रेस पार्टी स्पष्ट करें कि उन्होंने दलितों के लिए क्या किया. सोनकर ने कहा कि अनुसूचित जाति-जनजाति अत्याचार अधिनियम को लेकर उच्चतम न्यायालय के एक फैसले पर भाजपा पर आरोप लगाया गया है कि इस मामले में भाजपा की भूमिका कमजोर रही है और इसको लेकर विरोधी दलों के नेताओं द्वारा गलत बयानबाजी की जा रही है.
उन्होंने कहा, ‘‘इस अधिनियम को हम किसी भी कीमत पर कमजोर नहीं होने देंगे. अगर अदालत में इस मामले का उचित समाधान नहीं निकलता है, तो इस संदर्भ में अधिनियम लाने को लेकर कदम उठाने पर विचार करेंगे.’ उन्होंने कहा कि आज भाजपा पर संविधान को बदलने का प्रयास करने का भी आरोप लगाया जा रहा है, जो कि विपक्ष की हताशा और निराशा को दिखाता है.