पटना : 333 करोड़ रुपये घाटे का बजट पास, अंदर चल रही थी बजट पर बैठक, बाहर चल रहे थे लाठी-डंडे

पटना : पटना विश्वविद्यालय द्वारा शनिवार को आयोजित सीनेट की बैठक में वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए कुल 365.94 करोड़ रुपये का बजट सर्वसम्मति से स्वीकृत किया गया. इसमें पीयू ने अपनी कुल आय 32.42 लाख रुपये दिखायी है और इस प्रकार विवि का बजट 333.52 करोड़ रुपये घाटे का बजट है. उक्त बजट को […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 28, 2018 7:07 AM

पटना : पटना विश्वविद्यालय द्वारा शनिवार को आयोजित सीनेट की बैठक में वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए कुल 365.94 करोड़ रुपये का बजट सर्वसम्मति से स्वीकृत किया गया. इसमें पीयू ने अपनी कुल आय 32.42 लाख रुपये दिखायी है और इस प्रकार विवि का बजट 333.52 करोड़ रुपये घाटे का बजट है.

उक्त बजट को सरकार के पास भेजा जायेगा, ताकि जो घाटा है उसे सरकार द्वारा अनुदान के माध्यम से समय पर पूरा किया जा सके. यही वजह है कि इस वर्ष पीयू ने बिल्कुल समय पर बजट को स्वीकृति दी है.

बैठक में इसके अतिरिक्त छात्रों, शिक्षकों व कर्मचारियों सभी ने अपनी-अपनी समस्याओं को विस्तार पूर्वक उठाया. कुलपति प्रो रास बिहारी सिंह ने जल्द-से-जल्द इन समस्याओं के निबटारे का भी आश्वासन दिया. बाहर छात्र संघ व छात्रों से जुड़े अन्य मामलों को लेकर छात्रों ने हंगामा किया तो भीतर भी कई मुद्दों पर हंगामा हुआ.क्वालिटी ऑफ एजुकेशन का मामला उठा : बैठक में सर्वप्रथम सिंडिकेट सदस्य सुधाकर सिंह ने क्वालिटी ऑफ एजुकेशन का मामला उठाया.

इसमें मुख्य रूप से रिसर्च के गिरते स्तर को बेहतर करने के लिए प्रयास की बात कही गयी. छात्र संघ के निवर्तमान अध्यक्ष दिव्यांशु भारद्वाज ने समय से पहले छात्र संघ को भंग करने व हॉस्टल आवंटन नहीं करने और हॉस्टलों व कई अन्य भवनों में घटिया काम किये जाने का मामला उठाया.इस पर कुलपति प्रो रास बिहारी सिंह ने कहा कि इस संबंध में आपत्ति कॉरपोरेशन को भेजी गयी है.

इसके बाद रजिस्ट्रार कर्नल मनोज मिश्र ने कार्रवाई शुरू करायी. प्रतिकुलपति प्रो डॉली सिन्हा ने बजट अभिभाषण प्रस्तुत किया. उसमें विशेष तौर पर 1996 व 2006 से प्रभारी वेतन पुनरीक्षण के बाद एरियर व सेवांतक लाभ के मदों ने सरकार द्वारा पर्याप्त अनुदान विमुक्त नहीं किये जाने की वजह से होनी वाली समस्या को रखा.

प्रो एसआर पद्मदेव ने डिस्पेंसरी को पीएमसीएच को हस्तांतरित करने का पुरजोर विरोध किया. कई अन्य सदस्यों ने भी विरोध किया. इस पर कुलपति ने कहा कि सरकार ने इसके एवज में स्किन विभाग देने की बात कही है. वहीं 20 प्रतिशत पार्किंग भी उसमें पीयू की होगी, जिससे दरभंगा हाउस में पार्किंग की समस्या नहीं रहेगी.

सीनेट हॉल का नाम स्वामी विवेकानंद पर रखने की मांग

सीनेट सदस्य पप्पू वर्मा ने सीनेट हॉल का नाम बदल कर स्वामी विवेकानंद पर रखने की मांग की. इसका अन्य कई सदस्यों ने विरोध किया. उन्होंने कहा कि विवि के नाम पर सरकार द्वारा करोड़ों रुपये सैंक्शन हो रहे हैं, लेकिन काम ठीक नहीं हो रहा है. पैसों की लूट मची हुई है. आजाद चांद ने एलएलएम में सीट बढ़ाने और शोध कार्य नहीं होने की वजह से जेआरएफ छात्रों की स्कॉलरशिप लैप्स करने के मामले को उठाया.

ये मामले हुए स्वीकृत

– बीबीए-एलएलबी 5 वर्षीय पाठ्यक्रम के पुन: प्रारूपित अध्यादेश का अनुमोदन

– मगध महिला कॉलेज में एडऑन के रुप में सर्टिफिकेट कोर्स इन स्किल डेवलपमेंट ऑफ गर्ल्स स्टूडेंट्स

– नये पंद्रह पीजी विभागों का सृजन

– वाणिज्य कॉलेज में सर्टिफिकेट कोर्स इन कंप्यूटराइज्ड अकाउंटिंग की संशोधित फीस Rs 5000 का अनुमोदन

– पीएचडी के नये ऑर्डिनेंस व रेगुलेशन का अनुमोदन

– दो वर्षीय बीएड पाठ्यक्रम के विनियम व फीस स्ट्रक्चर का अनुमोदन

– दो वर्षीय एमएड पाठ्यक्रम के अध्यादेश में प्रस्तावित संशोधन

– डीएससी व डीलिट का अनुमोदन

– बेसिक इंग्लिश प्रोफिशिएंसी में एडऑन सर्टिफिकेट कोर्स का अनुमोदन

– एमए इन रूरल स्टडीज, डिप्लोमा इन सेफ्टी मैनेजमेंट, पीएम एंड आईआर में फीस वृद्धि प्रस्ताव का अनुमोदन

– विवि कैंपस में बुक स्टाॅल खोलने, पंडित दीनदयाल उपाध्याय शोध पीठ, बीकॉम में सीटें बढ़ाने, कन्वोकेशन में भारतीय परिधान पहनने समेत कई मामलों को स्वीकृति दी गयी.

पटना : छात्र संघ चुनाव कराने समेत छात्रों की अन्य कई समस्याओं को लेकर पटना विश्वविद्यालय की सीनेट की बैठक का विभिन्न छात्र संगठनों ने जोरदार विरोध किया. कई छात्र बैठक का विरोध करते हुए पीयू गेट के ऊपर चढ़ गये, तो कुछ दीवार फांद कर भीतर घुस गये.

हालांकि पुलिस ने उन्हें बैठक में घुसने से रोक दिया. इसमें पुलिस ने लाठीचार्ज करते हुए छात्रों को वहां से निकाला, लेकिन प्रदर्शन के दौरान किसी छात्र ने पुलिस की ओर एक पत्थर चला दिया, जिसमें एक पुलिसकर्मी घायल हो गया, जिसका इलाज चल रहा है.

Next Article

Exit mobile version