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लोकसभा चुनाव को लेकर राजनेता कर रहे 2000 के नोटों की जमाखोरी, बैंक तैयार, एटीएम से नहीं मिलेंगे 2000 रुपये के नोट

सुबोध कुमार नंदन रिजर्व बैंक पटना ने दो माह से बैंकों को जारी नहीं किये 2000 रुपये के नोट पटना : अगले कुछ माह बाद से बैंकों के एटीएम से 2000 रुपये के नोट नहीं मिलेंगे. रिजर्व बैंक की ओर से 2000 के नोटों की सप्लाई काफी कम होने की वजह से यह स्थिति पैदा […]

सुबोध कुमार नंदन
रिजर्व बैंक पटना ने दो माह से बैंकों को जारी नहीं किये 2000 रुपये के नोट
पटना : अगले कुछ माह बाद से बैंकों के एटीएम से 2000 रुपये के नोट नहीं मिलेंगे. रिजर्व बैंक की ओर से 2000 के नोटों की सप्लाई काफी कम होने की वजह से यह स्थिति पैदा हुई है. जानकारी के अनुसार कई प्रमुख बैंकों ने अपने एटीएम से 2000 के नोट वाले कैसेट को हटाना शुरू कर दिया है.
कई बैंक इसकी तैयारी में जुटे हैं. फिलहाल बैंक शाखाओं द्वारा संचालित एटीएम से ही 2000 के नोट लोगों को मिल रहे हैं. अधिकारियों की मानें, तो आगामी लोकसभा चुनाव को लेकर राजनेताओं ने 2000 के नोटों की जमाखाेरी शुरू दी है. इसके कारण मार्केट में भी 2000 के नोटों की संख्या दिनोंदिन कम होती जा रही है.
सबसे ज्यादा 500 अौर 200 रुपये के नोटों की खेप उतरी
दो-तीन माह से जारी नहीं किये गये नोट
पटना स्थित रिजर्व बैंक के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार पिछले दो-तीन माह से बैंकों के करेंसी चेस्ट को 2000 के नोट जारी नहीं किये जा रहे हैं. 2000 के नोटों की सप्लाई कम होना मुख्य वजह बतायी जा रही है. मिली जानकारी के अनुसार रिजर्व बैंक में पिछले तीन-चार माह में सबसे ज्यादा 500 अौर 200 रुपये के नोटों की खेप उतरी है.
बैंक का निर्देश है कि ग्राहकों 500 की एक गड्डी देने की जगह 200 की दो और एक सौ की एक गड्डी दी जाये. नोटबंदी के बाद कैश की किल्लत तो दूर हुई. लेकिन 2000 के नोट लोग संंदूक में जमा करने लगे और अब राजनेताओं ने चुनाव को लेकर जमाखोरी शुरू कर दी है. रिजर्व बैंक के अधिकारियों की मानें, तो फिलहाल 2000 के नोटों की छपाई कम हो रही है. इसके कारण सप्लाई न के बराबर हो रही है. रिजर्व बैंक का पूरा फोकस अब 200 के नोटों पर है.
खराब होने वाले नोटों में 2000 के नोट अधिक
दो साल बाद ही 2000 के नोट चलन से बाहर होने लगे हैं. मामले की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि कुछ बैंकों ने बड़ी संख्या में इन नोटों को जारी नहीं करने योग्य (नॉन इश्यूबल) श्रेणी में डाल दिया है. गंदे, मटमैलेे और फटे-पुराने नोट नॉन इश्यूबल घोषित हो जाते हैं.
इसकी मुख्य वजह यह है कि अगर एक बार नोट खराब हो गये, तो एटीएम में गणना में तकनीकी गड़बड़ी हो जाती है. बैंक अधिकारियों की मानें तो बिहार के सीमावर्ती इलाके कैमूर, रोहतास, गोपालगंज, सीवान, कटिहार, पूर्णिया, रक्सौल, मोतिहारी, सीतामढ़ी इलाके के बैंक शाखाओं से 2000 के नोटों की मांग पिछले दो-तीन माह अधिक होगी.
स्टेट बैंक ने तो 2000 के नोट वाला कैसेट को हटाना शुरू कर दिया है. जानकारी के अनुसार एटीएम के कैसेट में बदलाव काफी तेजी से हो रहा है. लगभग 50 फीसदी एटीएम में बदलाव हो चुका है. 2000 नोट के बदले 500 रुपये के नोट पर अधिक जोर दिया जा रहा है. एटीएम में नोट अपलोड करने वाले एजेंसियों की मानें तो फिलहाल केवल पटना में 2000 रुपये के नोट एटीएम में डाले जा रहे हैं. वह भी चुनिंदा एटीएम में ही. ग्रामीण क्षेत्रों में तो पिछले तीन-चार माह में नोट नहीं डाले गये है. कुछ बैंकाें के शाखा द्वारा संचालित एटीएम से ही लोगों को 2000 के नोट मिल रहे हैं.

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