पटना : राजद नेता व बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के सरकारी आवास को खाली कराने पहुंचे आवास बोर्ड के अधिकारी और पुलिस पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं के भारी विरोध के कारण बैरन लौट गये. बताया जाता है कि तेजस्वी यादव ने पहले से ही एनपीए ले रखा था, जिसे दिखाने के बाद आवास बोर्ड के अधिकारी आवास खाली कराये बैरन लौट गये.
राजद नेताओं और कार्यकर्ताओं के विरोध के कारण तेजस्वी यादव का पांच, देशरत्न का बंगला बुधवार को खाली नहीं कराया जा सका. मालूम हो कि बुधवार की सुबह आवास बोर्ड के अधिकारी और पुलिस जिलाधिकारी के आदेश पर तेजस्वी यादव का पांच, देशरत्न मार्ग स्थित बंगला खाली कराने के लिए पहुंचे थे. अपने नेता का बंगला खाली कराने पहुंचे अधिकारियों को देख पार्टी नेता विरोध करते हुए हंगामा करना शुरू कर दिया है.
पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं ने कहा कि बंगले को खाली करने नहीं दिया जायेगा. इसके लिए हम कुछ भी करने को तैयार हैं. उसके बाद पार्टी नेता और कार्यकर्ता बंगले के बाहर धरने पर बैठ गये हैं. वहीं, तेजस्वी यादव के बड़े भाई तेज प्रताप यादव ने अपने छोटे भाई का पक्ष लेते हुए कहा कि तेजस्वी के बढ़ते कद को लेकर सरकार डर गयी है. मामला जब अदालत में विचाराधीन है, तो ऐसे में सरकार को इतनी जल्दबाजी क्यों हैं?
तेजस्वी का बंगला खाली कराने पहुंचे अधिकारी, राजद नेता के पोस्टर देख हुए दंग
तेजस्वी यादव के सरकारी बंगले को लेकर विवाद जोर पकड़ता जा रहा है. एक ओर उपमुख्यमंत्री के लिए आवंटित पांच, देशरत्न मार्ग स्थित बंगला बिहार सरकार जहां खाली कराना चाहती है, वहीं राजद नेता ने कोर्ट में मामला विचाराधीन होने का पोस्टर चिपका दिया है. तेजस्वी यादव का बंगला खाली कराने को लेकर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात कर दिये गये हैं.
जानकारी के मुताबिक, राजद नेता व बिहार विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के सरकारी बंगले को खाली कराने के लिए बुधवार की सुबह आवास बोर्ड के अधिकारी पांच, देशरत्न मार्ग पहुंचे. पटना के जिलाधिकारी के आदेश पर बंगला खाली कराने को लेकर यह कार्रवाई की जा रही है. वहीं, भारी संख्या में पुलिस बल मौके पर तैनात कर दिये गये हैं.
बुधवार की सुबह जिलाधिकारी के आदेश पर आवास बोर्ड के अधिकारी जब बंगला खाली कराने पहुंचे, तो आवास के बाहर तेजस्वी यादव की ओर से चिपकाये गये पर्चे को देख कर चकित रह गये. तेजस्वी यादव की ओर से चिपकाये गये पर्चे में कहा गया है कि पटना हाईकोर्ट में मामला विचाराधीन है. ऐसे में पांच, देशरत्न मार्ग स्थित आवास को यथा स्थिति में रखे जाने की बात कही गयी है. साथ ही पटना के जिलाधिकारी, एसएसपी, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव, मुख्यमंत्री सचिवालय, भवन निर्माण विभाग के प्रधान सचिव और भू-संपदा पदाधिकारी के साथ-साथ केंद्रीय भवन प्रमंडल के कार्यपालक अभियंता को सूचित करते हुए कहा गया है कि अदालत से मामले के निष्पादन तक कोई दंडात्मक कार्रवाई ना की जाये.
तेजस्वी यादव के बंगले के बाहर भारी संख्या में पुलिस के जवानों और वज्र वाहन के साथ कई अधिकारी मौजूद हैं. मालूम हो कि तेजस्वी यादव अभी दिल्ली में बताये जाते हैं. वहीं, तेजस्वी यादव राबड़ी आवास में रह रहे हैं.
क्या है मामला
राजद, कांग्रेस और जदयू की गठबंधन सरकार में तेजस्वी यादव उपमुख्यमंत्री बने थे. उसके बाद उन्हें पांच देशरत्न मार्ग स्थित सरकारी आवास उपमुख्यमंत्री के लिए आवंटित किया गया था. उसके बाद राजद से अलग होकर एनडीए के सहयोग से जदयू ने सरकार बना ली. जदयू और एनडीए की सरकार बनने पर सुशील कुमार मोदी उपमुख्यमंत्री बने. इसके बाद राज्य सरकार ने उपमुख्यमंत्री के लिए आवंटित पांच देशरत्न मार्ग स्थित सरकारी आवास खाली करने का निर्देश दिया. राज्य सरकार के फैसले को तेजस्वी यादव ने पटना हाईकोर्ट में चुनौती दी. जस्टिस ज्योति शरण की अदालत ने सभी पक्षों की दलीलें सुनने के बाद छह अक्तूबर, 2018 को फैसला सुनाते हुए तेजस्वी यादव को राज्य सरकार द्वारा उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी को आवंटित पांच देशरत्न मार्ग स्थित आवास खाली करने का निर्देश दिया. इसके बावजूद पूर्व उपमुख्यमंत्री और नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने सरकारी बंगले को खाली नहीं किया और पटना हाईकोर्ट के सिंगल बेंच के फैसले के खिलाफ डबल बेंच में अपील कर दी. साथ ही मामले में हाईकोर्ट से स्वत: संज्ञान लेने का अनुरोध भी किया है.
किसने क्या कहा?
तेजस्वी यादव सिर्फ नेता प्रतिपक्ष नहीं है. वह जनाधारवाले नेता है. मुख्यमंत्री बदले की भावना से बंगले को खाली कराने की कोशिश कर रहे हैं. : रामचंद्र पूर्वे, प्रदेश अध्यक्ष, राजद
पहले संजय की बंगला खाली करवाये सरकार. पीके (प्रशांत किशोर), वशिष्ठ नारायण कैसे रह रहे हैं.तेजस्वी नेता प्रतिपक्ष हैं. पहले जो अवैध रूप से रह रहे हैं, उन्हें सरकार हटाये. :भाई वीरेंद्र, प्रवक्ता, राजद
भवन निर्माण के आदेश पर जिला प्रशासन तेजू बाबा का घर खाली करवाने गया, तो राजद के पूर्व मंत्री विधायक विरोध कर रहे हैं और सरकारी काम में बाधा उत्पन्न कर रहे हैं. ऐसा मोह सरकारी संपत्ति से !!! खानदानी आदत हैं लगता हैं, लालू-राबड़ी जी को भी 1, अणे मार्ग खाली करने में आठ महीना लगा था. : अजय आलोक, प्रवक्ता, जदयू
भवन निर्माण के आदेश पर ज़िला प्रशासन तेजू बाबा का घर ख़ाली करवाने गया तो RJD के पूर्व मंत्री विधायक विरोध कर रहे हैं और सरकारी काम में बाधा उत्पन्न कर रहे हैं । ऐसा मोह सरकारी संपती से !!!ख़ानदानी आदत हैं लगता हैं , लालू राबरी जी को भी 1 अणे मार्ग ख़ाली करने में 8 महीना लगा था
— Dr Ajay Alok (@alok_ajay) December 5, 2018